इजरायल के खुफिया तंत्र में बड़ा बदलाव! सैनिकों के लिए अरबी और इस्लाम पढ़ना किया जरूरी

Edited By Updated: 26 Jul, 2025 03:04 PM

israel made mandatory for military to study islam and learn arabic

इजरायल डिफेंस फोर्स (IDF) ने अपनी खुफिया शाखा AMAN के सैनिकों और अधिकारियों के लिए  अरबी भाषा  और इस्लामी पढ़ाई को अब अनिवार्य कर दिया ...

 International Desk: इजरायल डिफेंस फोर्स (IDF) ने अपनी खुफिया शाखा AMAN के सैनिकों और अधिकारियों के लिए  अरबी भाषा  और इस्लामी पढ़ाई को अब अनिवार्य कर दिया है। सेना के मुताबिक यह फैसला  हमास हमले में खुफिया तंत्र की विफलता  के बाद लिया गया है।

 

नया आदेश 

  •  सभी खुफिया अधिकारियों और सैनिकों को इस्लाम की बुनियादी जानकारी दी जाएगी।
  •  अगले साल के अंत तक AMAN के 50% जवान अरबी भाषा सीख लेंगे। 
  •  हूती और इराकी बोलियों पर भी ध्यान होगा क्योंकि IDF को इन्हें समझने में मुश्किल आती है।

 
 

क्यों जरूरी अरबी और इस्लाम की पढ़ाई? 
7 अक्टूबर 2023 को गाजा से हमास के हमले ने इजरायल खुफिया सिस्टम की कमजोरियां उजागर कर दी थीं। IDF मानती है कि अरबी और इस्लाम की सही समझ  से उनके खुफिया ऑपरेशन और मजबूत होंगे। एक अधिकारी ने कहा- “हमारे सैनिक अरब गांवों में पले-बढ़े तो नहीं हैं, लेकिन भाषा और संस्कृति की समझ से उनकी नजर और पैनी होगी।”
 

स्कूलों में भी अरबी की पढ़ाई बढ़ेगी 
IDF अब टेलेम विभाग  को फिर से खोलने वाली है, जो पहले बजट के कारण बंद कर दिया गया था। यह विभाग  मिडिल और हाई स्कूलों  में अरबी पढ़ाने को बढ़ावा देगा ताकि भविष्य में सेना को अरबी जानने वाले युवा मिल सकें। इजरायल के खुफिया अफसरों को हूती लड़ाकों की बोली समझने में दिक्कत आती है क्योंकि यमन जैसे इलाकों में लोग कात (हल्की नशे की पत्ती) खाते हैं जिससे उनकी आवाज़ साफ नहीं रहती। नई ट्रेनिंग में इन स्थानीय बोलियों को भी शामिल किया जाएगा।
 
 

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