Edited By Shubham Anand,Updated: 22 Sep, 2025 08:02 PM

देशभर में लागू हुए नए जीएसटी सुधारों (GST 2.0) के तहत टैक्स स्लैब घटाकर केवल 5% और 18% कर दिए गए हैं। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने व्यापारियों और उपभोक्ताओं से मिलकर इस बदलाव की जानकारी दी। उन्होंने व्यापारियों से ग्राहकों को "देवता"...
नेशनल डेस्क: देशभर में नए जीएसटी सुधारों (जीएसटी 2.0) के लागू होने के बाद केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने सोमवार को पूर्वी दिल्ली के लक्ष्मीनगर में व्यापारियों और ग्राहकों से मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने जीएसटी सुधारों के लाभ और इसके पीछे की सोच को साझा किया। वित्त मंत्री ने व्यापारियों से अपील की कि वे ग्राहकों को "देवता" की तरह मानें, क्योंकि नए जीएसटी सुधारों का उद्देश्य आम नागरिकों को राहत देना और कारोबार को आसान बनाना है।
"नागरिक देवों भव:" का संदेश
निर्मला सीतारमण ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हाल ही में "नागरिक देवों भव:" का संदेश दिया है, जिसका मतलब है कि नागरिकों का सम्मान और उनके लिए काम करना सरकार की प्राथमिकता है। उन्होंने व्यापारियों से कहा, "दुकानदारों को भी ग्राहकों को देवता की तरह मानना चाहिए।" वित्त मंत्री ने बताया कि पहले भारत में अलग-अलग राज्यों में विभिन्न टैक्स सिस्टम थे, जिससे व्यापारियों को काफी परेशानी होती थी। 2017 में जीएसटी लागू होने के बाद कई टैक्स एक टैक्स में समाहित हो गए, जिससे कारोबार करना आसान हो गया।
पहले और अब की स्थिति
वित्त मंत्री ने जीएसटी के सफर को याद करते हुए बताया कि 2017 में जीएसटी लागू होने के बाद सुधारों की गुंजाइश कम थी। 2019 के चुनाव और फिर कोविड-19 महामारी के कारण इस पर ध्यान देना मुश्किल था। लेकिन हाल ही में प्रधानमंत्री के निर्देश पर जीएसटी पर काम शुरू हुआ और मात्र एक महीने में नए सुधार तैयार कर जीएसटी काउंसिल में पास कर दिए गए।
नए जीएसटी 2.0 के तहत पहले के 5%, 12%, 18% और 28% के स्लैब्स को घटाकर केवल दो स्लैब्स 5% और 18% कर दिए गए हैं। रोजमर्रा की 375 वस्तुओं की कीमतें कम की गई हैं, जिनमें से ज्यादातर अब 5% टैक्स स्लैब में हैं। इससे आम आदमी की जेब पर सकारात्मक असर पड़ा है और सामान सस्ते हो गए हैं।
उपभोक्ताओं के लिए राहत
निर्मला सीतारमण ने कहा कि जीएसटी 2.0 से उपभोक्ताओं को ज्यादा बचत होगी। उन्होंने यह भी याद दिलाया कि सरकार ने 12 लाख रुपये तक की आय को टैक्स-मुक्त कर दिया है, जिससे मध्यम वर्ग को बड़ी राहत मिली है। वित्त मंत्री ने जोर देकर कहा कि भारत को 2047 तक विकसित राष्ट्र बनाने के लिए सभी का सहयोग जरूरी है। नए जीएसटी सुधारों से प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से हर नागरिक को लाभ होगा।
सांसद हर्ष मल्होत्रा का समर्थन
पूर्वी दिल्ली से सांसद और केंद्रीय राज्य मंत्री हर्ष मल्होत्रा ने भी वित्त मंत्री के विचारों का समर्थन किया। उन्होंने कहा कि 12 लाख रुपये तक की आय को टैक्स-मुक्त करना सरकार की सबसे बड़ी उपलब्धि है। उन्होंने बताया कि "वन नेशन, वन टैक्स" की अवधारणा के तहत लाखों वस्तुओं पर टैक्स में कटौती की गई है। रसोई के सामान से लेकर इलेक्ट्रॉनिक्स तक, लगभग हर चीज पर छूट दी गई है। अब केवल दो जीएसटी स्लैब्स (5% और 18%) होने से व्यापारियों के लिए भी कारोबार आसान होगा।