Edited By Niyati Bhandari,Updated: 24 Apr, 2025 07:47 AM
Fear of dreams: अंतहीन गड्ढे में गिरना, पीछा किया जाना, हाथ-पैर न हिला पाना, किसी प्रियजन की मृत्यु आदि आमतौर पर दिखने वाले बुरे सपने हैं। यदि आपको दु:स्वप्न यानी बुरे सपने आते रहे हैं तो इनके बाद जागने और दोबारा सोने से बहुत डरने के अनुभव से आप...
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Fear of dreams: अंतहीन गड्ढे में गिरना, पीछा किया जाना, हाथ-पैर न हिला पाना, किसी प्रियजन की मृत्यु आदि आमतौर पर दिखने वाले बुरे सपने हैं। यदि आपको दु:स्वप्न यानी बुरे सपने आते रहे हैं तो इनके बाद जागने और दोबारा सोने से बहुत डरने के अनुभव से आप सुपरिचित होंगे। नींद वैज्ञानिकों का कहना है कि इससे निपटने के कई तरीके हैं। एक पॉडकास्ट में नींद शोधकर्ता माइकल श्रेडल बताते हैं कि आपको बुरे सपने के सकारात्मक तरीके से समाप्त होने के बारे में सोचने की जरूरत है।
अधिकतर जब आप जागते हैं तो दु:स्वप्न बीच में ही होते हैं। इसका अर्थ है कि आप उन्हें कभी पूरा खत्म नहीं करते और वे किसी न किसी रूप में फिर से आते हैं। उनका मानना है कि जब आप जाग रहे होते हैं तो बुरे सपनों पर दोबारा गौर करना चाहिए। उदाहरण के लिए, आपने संभवत: यह सपना देखा हो कि कोई आपका पीछा कर रहा है।
उस स्थिति में जागने के बाद आपको अपने बारे में सोचना चाहिए और खुद से यह कहें, ‘‘बुरे सपनों से दूर भागना एक अच्छी रणनीति नहीं है क्योंकि मेरे जागने तक हमेशा कोई न कोई मेरे पीछे दौड़ता ही रहता है।’’
श्रेडल का सुझाव है कि दौड़ने की बजाय आपको अपना पीछा करने वाले की ओर घूमने की कल्पना करनी चाहिए और उससे पूछना चाहिए, ‘‘आप मुझसे क्या चाहते हैं?’’
वह कहते हैं कि इस तरह के सपने से जुड़ी इस रणनीति को 2 सप्ताह के लिए दिन में कम से कम 5 मिनट तक अपने दिमाग में दोहराएं। तब यह कल्पना आपके दिमाग में बस जाएगी और भविष्य में आने वाले सपनों को बदल देगी। बहुत से लोगों के लिए ऐसा तरीका अपनाना काफी असरदार और तेजी से काम करने वाला रहा है।
आमतौर पर उन्हें इस तरह के बुरे सपने कभी वापस नहीं आते और वे चैन की नींद सो पाते हैं। एक ‘स्लीप लैब’ चलाने वाले श्रेडल के अनुसार, लगभग 5 प्रतिशत लोगों को ही बार-बार बुरे सपने आते हैं यानी सप्ताह में कम से कम एक बार। ऐसे लोग ऊपर बताई गई विधि को खुद आजमा सकते हैं।