Edited By Sarita Thapa,Updated: 17 Oct, 2025 07:15 AM

सनातन धर्म में प्रदोष व्रत का बहुत खास महत्व है। अक्टूबर 2025 में शिव भक्तों के लिए एक महत्वपूर्ण अवसर प्रदोष व्रत आने वाला है। यह दिन भगवान शिव की विशेष आराधना और पुण्य कमाने का उत्तम समय माना जाता है।
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Pradosh Vrat 2025: सनातन धर्म में प्रदोष व्रत का बहुत खास महत्व है। अक्टूबर 2025 में शिव भक्तों के लिए एक महत्वपूर्ण अवसर प्रदोष व्रत आने वाला है। यह दिन भगवान शिव की विशेष आराधना और पुण्य कमाने का उत्तम समय माना जाता है। हर माह की त्रयोदशी तिथि को मनाया जाने वाला प्रदोष व्रत विशेष रूप से शनि और चंद्रमा के शुभ संयोग से और भी अधिक प्रभावशाली होता है। इस व्रत के दौरान व्रती पूरे दिन उपवास रखते हैं और संध्या समय भगवान शिव की पूजा अर्चना करते हैं। माना जाता है कि सच्चे मन से भगवान शिव की पूजा करने और व्रत रखने से जीवन में आने वाली हर परेशानी दूर होती है और मनचाही सफलता मिलती है। तो आइए हैं प्रदोष व्रत के शुभ मुहूर्त और शुभ योग के बारे में-

Pradosh Vrat Shubh Muhurat प्रदोष व्रत शुभ मुहूर्त
प्रदोष व्रत की त्रयोदशी तिथि की शुरुआत 18 अक्टूबर को दोपहर 12 बजकर 18 मिनट पर होगी और त्रयोदशी तिथि का समापन 19 अक्टूबर को दोपहर 01 बजकर 51 मिनट पर होगा। उदया तिथि के अनुसार, प्रदोष व्रत 18 अक्टूबर को रखा जाएगा।

Pradosh Vrat Shubh Yog प्रदोष व्रत शुभ योग
कार्तिक माह के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि पर शिववास योग का संयोग बन रहा है। इसके साथ ही प्रदोष व्रत पर अभिजीत मुहूर्त, शिववास योग जैसे शुभ योग बन रहे हैं। इन योगों में भगवान शिव की पूजा करने से मनचाही इच्छा पूरी होगी और घर-परिवार में सुख-समृद्धि बनी रहती है।
