Edited By Niyati Bhandari,Updated: 13 Dec, 2022 07:59 AM
उस दिन वह मजदूरी कर घर नहीं आया। मंदिर में गया और मुरली वाले से पूछने लगा- क्या मेरे नसीब में गरीबी लिखी है, कब तक मजदूरी करता रहूंगा। अब मेरा लड़का बाबू भी बड़ा हो गया है,
Inspirational Story: उस दिन वह मजदूरी कर घर नहीं आया। मंदिर में गया और मुरली वाले से पूछने लगा- क्या मेरे नसीब में गरीबी लिखी है, कब तक मजदूरी करता रहूंगा। अब मेरा लड़का बाबू भी बड़ा हो गया है, वह भी एक कम्पनी में नौकरी कर रहा है। वहां भी उसे इतने पैसे नहीं मिलते हैं जितनी हम इच्छा रखते हैं। प्रभु, क्या करें? यह सब हमारी समझ से दूर है।
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यह सब मंदिर में मुरलीवाले की तस्वीर के सामने कहकर वह बाहर आ गया। शाम को बाबू भी यह कहने लगा- पिता जी! हम कब तक इस तरह जीते रहेंगे।
हमारी प्रार्थना भी कोई सुनने वाला नहीं है। सामने पड़ोस में बबलू को देखो। न जाने क्या-क्या करता है। पिछले दो सालों में उसने आलीशान मकान भी बना लिया है। दो महंगी कारें भी हैं। तीन नौकर भी रखे हैं। हम जहां हैं, अब भी वैसे ही हैं। पुराना घर है। दो साइकिलें हैं। लगता है कि हमारी जिंदगी ऐसे ही कट जाएगी। ऐसा नहीं कहते हैं, बेटा! बबलू जो कर रहा है, मुझे पता है। उस ओर मत देखो। जहां हो, वहां ईमानदारी से काम करते रहो। इधर-उधर ध्यान मत दो।
अभी थोड़े दिन ही व्यतीत हुए थे। बबलू नशे के कारोबार में फंस गया और परिवार सहित जेल की सलाखों में चला गया। बाबू अपनी ईमानदारी के कारण उसी कम्पनी में अच्छे पद पर आसीन हो गया।