Edited By Radhika,Updated: 08 Oct, 2025 05:29 PM

देश के सबसे बड़े निजी HDFC बैंक ने दिवाली से ठीक पहले लोन लेने वाले लाखों ग्राहकों को बड़ा तोहफा दिया है। बैंक ने अपनी कर्ज ब्याज दरों (MCLR) में कटौती का ऐलान किया है।
नेशनल डेस्क: देश के सबसे बड़े निजी HDFC बैंक ने दिवाली से ठीक पहले लोन लेने वाले लाखों ग्राहकों को बड़ा तोहफा दिया है। बैंक ने अपनी कर्ज ब्याज दरों (MCLR) में कटौती का ऐलान किया है। इस कटौती का सीधा असर ग्राहकों की EMI पर पड़ेगा, जिससे उनका बोझ कम हो जाएगा। यह फैसला कर्जदारों की उम्मीदें बढ़ाने वाला है, क्योंकि HDFC बैंक रिलायंस इंडस्ट्रीज के बाद देश की दूसरी सबसे मूल्यवान कंपनी है।
MCLR में कितनी और किस पर हुई कटौती?
HDFC बैंक ने चुनिंदा अवधियों (Tenure) के लिए अपने MCLR में 0.15% तक की कटौती की है। कटौती के बाद HDFC बैंक की MCLR दरें अब 8.40% से 8.65% के बीच होंगी, जो पहले 8.55% से 8.75% के बीच थीं।
अवधि के हिसाब से बदलाव
- ओवरनाइट (Overnight) MCLR: 8.55% से घटकर 8.45%
- एक महीने की दर: घटकर 8.40%
- तीन महीने की दर: 15 बेसिस पॉइंट कम होकर 8.45%
- छह महीने और एक साल की दरें: 10 बेसिस पॉइंट कम होकर 8.55%
- लंबी अवधि (2 और 3 साल) की दरें: क्रमशः 8.60% और 8.65% रखी गई हैं

MCLR कटौती का ग्राहकों पर क्या होगा असर?
MCLR वह न्यूनतम ब्याज दर होती है जिस पर कोई भी बैंक लोन दे सकता है। होम लोन, पर्सनल लोन और कमर्शियल लोन की ब्याज दरें अक्सर इसी MCLR से जुड़ी होती हैं। इस कटौती का सीधा फायदा उन ग्राहकों को होगा जिन्होंने MCLR से जुड़े फ्लोटिंग रेट (Floating Rate) लोन ले रखे हैं। MCLR में कमी आने से इन ग्राहकों की हर महीने कटने वाली EMI सीधे तौर पर घट जाएगी। HDFC बैंक की होम लोन दरें वर्तमान में 7.90% से 13.20% के बीच हैं। MCLR कटौती से बैंक ने खास तौर पर फ्लोटिंग लोन लेने वाले ग्राहकों पर EMI का बोझ कम करने का कदम उठाया है।
याद रखें: MCLR को तय करने में बैंक की डिपॉजिट रेट, रेपो रेट, ऑपरेशनल कॉस्ट और कैश रिजर्व रेशो को बनाए रखने का खर्च जैसे कई फैक्टर शामिल होते हैं।