Edited By Parveen Kumar,Updated: 03 Aug, 2025 10:21 PM

ऑनलाइन गेमिंग की दुनिया में डूबा एक 7 साल का मासूम बच्चा अनजाने में अपने माता-पिता के लिए एक बड़ा आर्थिक संकट खड़ा कर बैठा। मशहूर मोबाइल गेम फ्री फायर खेलते समय बच्चे ने गेम के अंदर बार-बार खरीदारी की और परिवार की सारी जमा पूंजी खर्च कर दी।
नेशनल डेस्क: ऑनलाइन गेमिंग की दुनिया में डूबा एक 7 साल का मासूम बच्चा अनजाने में अपने माता-पिता के लिए एक बड़ा आर्थिक संकट खड़ा कर बैठा। मशहूर मोबाइल गेम फ्री फायर खेलते समय बच्चे ने गेम के अंदर बार-बार खरीदारी की और परिवार की सारी जमा पूंजी खर्च कर दी। माता-पिता के अनुसार, यह रकम उन्होंने घर के ज़रूरी खर्चों और आपात स्थिति के लिए बचाकर रखी थी। लेकिन कुछ ही घंटों में सब कुछ खत्म होते देख वे सदमे में आ गए। यह घटना उस समय घटी जब बच्चा मोबाइल पर गेम खेल रहा था और उसे यह अहसास ही नहीं था कि वह असली पैसों से लेन-देन कर रहा है।
मासूम खेल, बड़ा नुकसान
बच्चा इन-ऐप खरीदारी के ज़रिए गेम में वर्चुअल आइटम और सुविधाएं लेता गया, जिनकी कुल लागत हजारों से लाखों रुपये तक पहुँच गई। यह रकम सीधी परिवार के बैंक खाते से डेबिट हो गई, जो पहले से ही मोबाइल में लिंक था।
डिजिटल दुनिया के खतरे
यह घटना बच्चों में बढ़ती ऑनलाइन गेमिंग की लत और अनियंत्रित इन-ऐप खरीदारी के खतरों को उजागर करती है। विशेषज्ञों का कहना है कि छोटे बच्चों को असली और वर्चुअल पैसों में फर्क समझ में नहीं आता, और ऐसे में बिना निगरानी के गेम खेलने देना एक बड़ी चूक साबित हो सकता है।
क्या कह रहे हैं विशेषज्ञ?
मनोवैज्ञानिक और बाल विशेषज्ञों के मुताबिक, बच्चों के स्क्रीन टाइम और डिजिटल गतिविधियों पर निगरानी बेहद ज़रूरी है। साथ ही, माता-पिता को मोबाइल पर पासवर्ड प्रोटेक्शन, खरीदारी पर पाबंदी और डिजिटल खर्चों की निगरानी जैसे कदम ज़रूर अपनाने चाहिए।
सबक और सावधानी
यह मामला सिर्फ एक परिवार की नहीं, बल्कि आज के डिजिटल युग में हर माता-पिता की चेतावनी है। जब मोबाइल और इंटरनेट बच्चों की पहुंच में हों, तो उनके इस्तेमाल पर सजग निगरानी और गाइडेंस नितांत आवश्यक हो जाती है। एक छोटी सी लापरवाही जीवनभर की कमाई पर भारी पड़ सकती है।