Edited By Parveen Kumar,Updated: 29 Nov, 2025 08:48 PM

रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) अपनी आगामी मौद्रिक नीति समिति (MPC) बैठक में रेपो रेट में 0.25% की कटौती कर सकता है, जिससे यह दर घटकर 5.25% हो सकती है। यह बैठक 3 से 5 दिसंबर तक आयोजित होगी। भारत में लगातार गिरती महंगाई ने आरबीआई को ब्याज दरों में कमी...
नेशनल डेस्क: रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) अपनी आगामी मौद्रिक नीति समिति (MPC) बैठक में रेपो रेट में 0.25% की कटौती कर सकता है, जिससे यह दर घटकर 5.25% हो सकती है। यह बैठक 3 से 5 दिसंबर तक आयोजित होगी। भारत में लगातार गिरती महंगाई ने आरबीआई को ब्याज दरों में कमी करने का मौका दिया है। खाद्य कीमतों में नरमी और GST में कटौती के कारण अक्टूबर में इंफ्लेशन 0.25% दर्ज किया गया, जो अब तक का सबसे निचला स्तर है।
घटेगी EMI, सस्ते होंगे लोन
यदि रेपो रेट घटता है, तो बैंकों को आरबीआई से कम ब्याज पर फंडिंग मिलेगी। बैंक इस राहत को ग्राहकों तक पहुंचाते हुए:
- होम लोन, पर्सनल लोन और ऑटो लोन की ब्याज दरें कम कर सकते हैं
- ग्राहकों की EMI घट जाएगी
- नए लोन भी कम रेट पर उपलब्ध होंगे
महंगाई में कमी ने बढ़ाया भरोसा
वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल के अनुसार, पिछले 10 सालों में महंगाई स्वतंत्रता के बाद की सबसे कम दशकीय दर पर रही है। यही वजह है कि आरबीआई पर ब्याज दर घटाने का दबाव और उम्मीद दोनों बढ़ गई हैं। अब सभी की निगाहें आरबीआई की अगली बैठक पर टिकी हैं।
वैश्विक संकेत भी कर रहे हैं इशारा
अमेरिकी केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्व अपनी अगली बैठक में एक और रेट कट कर सकता है। फेड ने अक्टूबर में पहले ही 0.25% की कटौती की थी। फेड की रेट कट के बाद दुनियाभर के केंद्रीय बैंक आमतौर पर ब्याज दरों में ढील देते हैं- यही कारण है कि आरबीआई के इस कदम की संभावना और मजबूत हो गई है।