Edited By Archna Sethi,Updated: 29 Dec, 2025 07:53 PM

निजी क्षेत्र में भी हजारों कुशल युवाओं को मिला रोजगार
चंडीगढ़, 29 दिसंबर:(अर्चना सेठी) राज्य के युवाओं के विदेश जाने के रुझान पर अंकुश लगाने की दिशा में एक अहम कदम उठाते हुए पंजाब सरकार ने वर्ष 2025 के दौरान रोजगार सृजन के क्षेत्र में उल्लेखनीय उपलब्धियां हासिल की हैं। पंजाब के रोजगार सृजन, कौशल विकास एवं प्रशिक्षण मंत्री अमन अरोड़ा ने बताया कि विभाग की बहु-आयामी रणनीति के तहत हजारों नए रोजगार अवसर सृजित किए गए हैं। अप्रैल 2022 से अब तक 59,000 से अधिक सरकारी नौकरियां प्रदान की गई हैं, वहीं निजी क्षेत्र में भी कुशल युवाओं के लिए रोजगार के व्यापक अवसर सुनिश्चित किए गए हैं, ताकि प्रतिभाशाली युवाओं के पलायन को रोका जा सके।
राज्य के युवाओं के लिए रोजगार के नए अवसर सुनिश्चित करने के विभागीय प्रयासों को रेखांकित करते हुए श्री अमन अरोड़ा ने बताया कि अप्रैल 2022 से अब तक 59,702 युवाओं को विभिन्न विभागों में सरकारी नौकरियां दी गई हैं। इसी तरह वर्ष 2025 के दौरान 959 प्लेसमेंट कैंपों के माध्यम से 48,912 उम्मीदवारों को रोजगार दिलाने में सहायता की गई। इसके अलावा लोन कैंपों के माध्यम से 10,064 युवाओं को स्वरोजगार शुरू करने के अवसर उपलब्ध कराए गए हैं।
रोजगार सृजन मंत्री ने बताया कि पंजाब कौशल विकास मिशन (पीएसडीएम) के तहत 19,619 उम्मीदवारों को प्रशिक्षण दिया गया है, जिनकी प्लेसमेंट प्रक्रिया प्रगति पर है। पंजाब ने अपनी “पंजाब कौशल विकास योजना” तैयार की है और तकनीकी दिग्गज कंपनियों माइक्रोसॉफ्ट, आईबीएम और नैसकॉम के सहयोग से युवाओं को वैश्विक एवं कॉरपोरेट क्षेत्र में महत्वपूर्ण भूमिकाओं के लिए तैयार किया जा रहा है।
यह कहते हुए कि पंजाब के युवाओं का भविष्य अब राज्य की सीमाओं के भीतर ही है, अमन अरोड़ा ने कहा, “हमारे आंकड़े इसका प्रमाण हैं। हम केवल नौकरियों का वादा नहीं कर रहे, बल्कि योजनाबद्ध तरीके से नियुक्ति पत्र, कौशल प्रमाणपत्र और उद्यमिता के अवसर भी प्रदान कर रहे हैं। अब पंजाब के युवाओं को विकास के लिए विदेशों की ओर देखने की आवश्यकता नहीं है। हम एक आत्मनिर्भर पंजाब का निर्माण कर रहे हैं, जहां प्रतिभा को पहचान कर प्रशिक्षण और रोजगार दिया जा रहा है।”
राज्य का आधिकारिक पोर्टल पीजीआरकेएएम (https://punjabrozgar.org.in/) रोजगार बाजार में एक क्रांतिकारी पहल के रूप में उभरा है, जिस पर 22,41,165 से अधिक नौकरी तलाशने वालों और 20,669 नियोक्ताओं ने पंजीकरण कराया है। इस प्लेटफॉर्म के माध्यम से 1316 रोजगार मेलों का आयोजन किया गया, जिससे रोजगार के नए अवसरों तक पहुंच संभव हुई और कौशल तथा नौकरियों के बीच की खाई को दूर किया गया।
उन्होंने बताया कि एक महत्वपूर्ण उपलब्धि के रूप में पंजाब की रक्षा प्रशिक्षण संस्थाओं ने राष्ट्रीय स्तर पर मानक स्थापित किए हैं। महाराजा रणजीत सिंह आर्म्ड फोर्सेज़ प्रेपरेटरी इंस्टीट्यूट (एमआरएसएएफपीआई) ने एनडीए में 82.45 प्रतिशत सफलता दर दर्ज की है। वर्ष 2025 में 34 कैडेट राष्ट्रीय रक्षा अकादमी (एनडीए/समकक्ष अकादमियों) में शामिल हुए तथा 17 कैडेटों को रक्षा बलों में अधिकारी के रूप में कमीशन प्राप्त हुआ।
उन्होंने आगे बताया कि पंजाब सरकार ने माई भागो आर्म्ड फोर्सेज़ प्रेपरेटरी इंस्टीट्यूट में लड़कियों के लिए राज्य द्वारा संचालित देश का पहला एनडीए प्रेपरेटरी विंग शुरू किया है, जिसमें 40 लड़कियों को कमीशंड अधिकारी बनने के लिए प्रशिक्षण दिया गया। इसके अतिरिक्त विभिन्न प्रशिक्षण अकादमियों में प्रवेश के लिए 10 महिला कैडेटों का चयन किया गया है और 7 महिला कैडेटों को अधिकारी के रूप में कमीशन मिला है। इस वर्ष 74 महिला कैडेटों ने सीडीएस/एएफकैट/एनडीए की लिखित परीक्षाएं भी उत्तीर्ण की हैं।
कैबिनेट मंत्री ने बताया कि पंजाब के सी-पाइट केंद्रों ने सशस्त्र एवं अर्धसैनिक बलों के लिए 8017 युवाओं को प्रशिक्षण दिया है, जिनमें से चालू वित्तीय वर्ष में 1236 उम्मीदवारों को नौकरियां प्राप्त हुई हैं। ये केंद्र युवाओं को देश की सेवा के लिए सक्षम बना रहे हैं।