एक्टर प्रेम चोपड़ा को है ये जानलेवा बिमारी, जानें कितना खतरनाक है ये रोग और क्या है इसके लक्षण

Edited By Updated: 10 Dec, 2025 04:09 PM

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अभिनेता प्रेम चोपड़ा को गंभीर ऑर्टिक स्टेनोसिस की समस्या के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां उनका बिना ओपन हार्ट सर्जरी वाला TAVI प्रोसीजर सफल रहा। अब उन्हें डिस्चार्ज कर दिया गया है और वे घर पर आराम कर रहे हैं। ऑर्टिक स्टेनोसिस एक खतरनाक...

नेशनल डेस्क : बॉलीवुड के मशहूर अभिनेता प्रेम चोपड़ा को हाल ही में सीने में भारीपन और कंजेशन की समस्या के बाद मुंबई के लीलावती अस्पताल में भर्ती कराया गया था। डॉक्टरों की देखरेख और लगातार इलाज के बाद अब उनकी स्थिति बेहतर है और उन्हें डिस्चार्ज कर दिया गया है। घर लौटने के बाद वह आराम कर रहे हैं।

उनके दामाद और अभिनेता शरमन जोशी ने सोशल मीडिया पर उनकी हेल्थ का अपडेट साझा किया। उन्होंने बताया कि प्रेम चोपड़ा को गंभीर ऑर्टिक स्टेनोसिस (Aortic Stenosis) की समस्या थी, जिसमें हार्ट का एऑर्टिक वाल्व काफी संकरा हो जाता है और खून की सप्लाई प्रभावित होती है। डॉक्टरों ने उनका TAVI प्रक्रिया के जरिए इलाज किया, जिसमें बिना ओपन हार्ट सर्जरी के वाल्व को ठीक किया जाता है। यह प्रोसीजर सफल रहा और अब उनकी हालत में लगातार सुधार हो रहा है। शरमन जोशी ने इंस्टाग्राम पर अस्पताल से तस्वीरें साझा करते हुए डॉक्टर नितिन गोकले और डॉक्टर रविंदर सिंह राव का धन्यवाद किया। उन्होंने लिखा कि डॉक्टरों की टीम ने बेहद समर्पित तरीके से इलाज किया, जिसकी बदौलत प्रेम चोपड़ा अब ठीक हो रहे हैं।

नवंबर की शुरुआत में उन्हें सीने में भराव, वायरल इंफेक्शन और फेफड़ों से जुड़ी दिक्कत होने के कारण अस्पताल में भर्ती किया गया था। डॉक्टरों के मुताबिक उम्र अधिक होने के चलते उनकी रिकवरी धीमी थी, लेकिन स्थिति कभी भी क्रिटिकल नहीं हुई।

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क्या है ऑर्टिक स्टेनोसिस? कितना खतरनाक है ये रोग?

American Heart Association के अनुसार, यह एक गंभीर हार्ट कंडीशन है, जिसमें ऑर्टिक वाल्व इतना संकरा हो जाता है कि शरीर तक पर्याप्त खून और ऑक्सीजन नहीं पहुंच पाती। इलाज न मिलने पर यह स्थिति हार्ट फेलियर या अचानक कार्डियक अरेस्ट तक पहुंच सकती है।

खतरे:

  • दिल की मांसपेशी कमजोर होना
  • ऑक्सीजन और खून की सप्लाई प्रभावित
  • हार्ट फेल्योर का जोखिम बढ़ना
  • गंभीर मामलों में अचानक मौत का खतरा
  • बुजुर्गों में रिकवरी और धीमी हो जाती है

डॉक्टरों का कहना है कि समय पर पहचान और इलाज बेहद जरूरी है, नहीं तो गंभीर ऑर्टिक स्टेनोसिस जानलेवा साबित हो सकता है।

लक्षण 

  • थकान (Fatigue): शरीर को पर्याप्त खून न मिलने के कारण जल्दी थकावट
  • सांस फूलना (Shortness of breath): हल्की गतिविधि में भी सांस लेने में दिक्कत।
  • सीने में दर्द (Chest pain): खासकर चलने, सीढ़ियाँ चढ़ने या मेहनत करने पर।
  • बेहोशी (Fainting): खासकर दौड़ने या अचानक खड़े होने पर।
  • दिल की धड़कन महसूस होना (Heart palpitations)


 

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