Edited By Radhika,Updated: 06 Sep, 2025 02:53 PM

बिहार में विधानसभा चुनाव से पहले SIR को लेकर विवाद के बीच Election Commission ने एक बड़ा फैसला लिया है। इसके अनुसार यह प्रोसेस देशभर में एक साथ लागू किया जाएगा।
नेशनल डेस्क : बिहार में विधानसभा चुनाव से पहले SIR को लेकर विवाद के बीच Election Commission ने एक बड़ा फैसला लिया है। इसके अनुसार यह प्रोसेस देशभर में एक साथ लागू किया जाएगा। आयोग ने इसे अंतिम रुप देने के लिए 10 सितंबर को दिल्ली में सभी राज्यों के मुख्य चुनाव अधिकारियों की एक महत्वपूर्ण बैठक बुलाई है। आइए जानते हैं कि क्या है SIR-
क्या है SIR?
SIR यानी 'मतदाता सूचियों का विशेष गहन पुनरीक्षण'। यह एक ऐसी प्रक्रिया है जिसमें चुनाव आयोग मतदाता सूचियों को अपडेट और सही करता है। इसका मकसद है कि देश में मतदाता सूची पूरी तरह से ठीक और विश्वसनीय हो। चुनाव आयोग ने कहा है कि यह कदम जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 के तहत लिया जा रहा है, ताकि मतदाता सूचियों की अखंडता बनी रहे।

बैठक में इन मुद्दों पर होगी चर्चा
10 सितंबर की बैठक में चुनाव आयोग मुख्य चुनाव अधिकारियों से 10 बिंदुओं पर जानकारी मांगेगा। इनमें मतदाताओं की मौजूदा संख्या, पिछली SIR की तारीख और डेटा और डिजिटलीकरण की स्थिति शामिल है। इसके अलावा मतदान केंद्रों की संख्या और उनकी व्यवस्था तथा अधिकारियों और BLO की नियुक्ति और प्रशिक्षण पर भी चर्चा होगी। आयोग ने भारतीय नागरिकों को इसमें शामिल करने के लिए अतिरिक्त दस्तावेजों के बारे में भी सुझाव मांगे हैं।
बिहार में जारी है प्रक्रिया
बिहार में SIR की प्रक्रिया पहले से ही चल रही है और यह 30 सितंबर तक पूरी हो जाएगी। चुनाव आयोग ने अपने 24 जून के आदेश में ही यह संकेत दे दिया था कि यह प्रक्रिया पूरे देश में लागू की जाएगी, लेकिन बिहार में चुनाव होने की वजह से इसे वहां पहले शुरू किया गया।