Edited By Sahil Kumar,Updated: 09 Sep, 2025 01:33 PM

9 सितंबर को देश को नया उपराष्ट्रपति मिलने वाला है, जो संविधान में दूसरा सबसे बड़ा पद है। उपराष्ट्रपति को सैलरी नहीं मिलती, लेकिन राज्यसभा के चेयरमैन के तौर पर उन्हें हर महीने 4 लाख रुपये भत्ता मिलता है। इसके अलावा, मुफ्त आवास, यात्रा, चिकित्सा और...
नेशनल डेस्कः आज, 9 सितंबर को भारत को नया उपराष्ट्रपति मिलने जा रहा है। यह पद देश में राष्ट्रपति के बाद दूसरी सबसे बड़ी संवैधानिक जिम्मेदारी है। कई लोगों को यह जानकर हैरानी होगी कि उपराष्ट्रपति को सैलरी नहीं मिलती, लेकिन इस पद से मिलने वाली भत्ते और सुविधाएं इतनी ज़बरदस्त होती हैं कि किसी भी शीर्ष सरकारी नौकरी को पीछे छोड़ दें। संसद भवन के उच्च सदन यानी राज्यसभा के सभापति के तौर पर उपराष्ट्रपति को हर महीने 4 लाख रुपये का भत्ता दिया जाता है। इसके अलावा, उन्हें सरकारी आवास, सुरक्षा, मेडिकल सुविधाएं और रिटायरमेंट के बाद भी 2 लाख रुपये पेंशन, Type 8 बंगला और पूरा स्टाफ मिलता है।
हालांकि उपराष्ट्रपति को सीधे तौर पर कोई वेतन नहीं मिलता, लेकिन उन्हें राज्यसभा के सभापति (Chairman) का अतिरिक्त प्रभार भी मिलता है। इसी भूमिका के तहत उन्हें हर महीने 4 लाख रुपये का भत्ता मिलता है। यह भत्ता ‘सैलरी एंड अलाउंस ऑफ ऑफिसर्स ऑफ पार्लियामेंट एक्ट, 1953’ के तहत निर्धारित किया गया है।
कौन-कौन सी सुविधाएं मिलती हैं?
- मुफ्त सरकारी आवास
- मुफ्त चिकित्सा सुविधाएं
- ट्रेन और हवाई यात्रा में मुफ्त सफर
- टेलीफोन और मोबाइल की सुविधा
- सरकारी वाहन और उसका संपूर्ण खर्च
- पर्सनल सिक्योरिटी और स्टाफ
- वाहन के साथ एस्कॉर्ट सुविधा
इन सभी सुविधाओं का खर्च केंद्र सरकार द्वारा वहन किया जाता है।
रिटायरमेंट के बाद मिलती है पेंशन
पद छोड़ने के बाद भी उपराष्ट्रपति को कई विशेष लाभ मिलते हैं। उन्हें हर महीने 2 लाख रुपये की पेंशन दी जाती है। यह अपने आप में एक अनूठा मामला है जहां सैलरी न होने के बावजूद रिटायरमेंट के बाद पेंशन मिलती है।
रिटायरमेंट के बाद अन्य सुविधाएं
- Type-8 का सरकारी बंगला
- एक निजी सचिव और एक अतिरिक्त निजी सचिव
- एक व्यक्तिगत सहायक
- एक फिजिशियन और एक नर्सिंग ऑफिसर
- चार पर्सनल अटेंडेंट