Edited By Shubham Anand,Updated: 12 Oct, 2025 03:41 PM

नई रिसर्च के अनुसार, दिल की बीमारियों का असली कारण रेड मीट या बटर नहीं, बल्कि हमारी रोजमर्रा की गलत आदतें हैं। रिफाइंड शुगर, प्रोसेस्ड स्टार्च, सीड ऑयल्स, स्मोकिंग और एंटीसेप्टिक माउथवॉश शरीर में नाइट्रिक ऑक्साइड का स्तर घटा देते हैं, जिससे हार्ट...
नेशनल डेस्क: सालों तक रेड मीट और बटर को दिल की बीमारियों का मुख्य कारण माना जाता रहा है, लेकिन अब नई स्टडीज और हेल्थ एक्सपर्ट्स के मुताबिक, असली खतरा कहीं और छिपा है। हेल्थ एक्सपर्ट और लेखक डॉ. एरिक बर्ग का कहना है कि हमारी रोजमर्रा की आदतें शरीर में नाइट्रिक ऑक्साइड के स्तर को कम कर देती हैं, जो हार्ट अटैक और अन्य हृदय रोगों का बड़ा कारण बन रही हैं।
डॉ. बर्ग के अनुसार, नाइट्रिक ऑक्साइड की कमी से ब्लड वेसल्स कमजोर हो जाती हैं और ब्लड सर्कुलेशन पर सीधा असर पड़ता है। यही कारण है कि हाई ब्लड प्रेशर, स्ट्रोक और हार्ट अटैक जैसी समस्याएं तेजी से बढ़ रही हैं।
हार्ट को नुकसान पहुंचाने वाली 5 बड़ी आदतें
रिफाइंड शुगर
सॉफ्ट ड्रिंक्स, पैकेज्ड फूड और डेजर्ट्स में पाई जाने वाली शुगर नाइट्रिक ऑक्साइड को तेजी से घटाती है और ब्लड शुगर को अचानक बढ़ा देती है, जिससे नसों में इंफ्लेमेशन होता है और हार्ट रिस्क बढ़ता है।
रिफाइंड स्टार्च
व्हाइट ब्रेड, क्रैकर्स और पेस्ट्री जैसे खाद्य पदार्थ शरीर में शुगर की तरह असर करते हैं। ये ब्लड शुगर बढ़ाते हैं और नसों की परत को नुकसान पहुंचाते हैं।
इंडस्ट्रियल सीड ऑयल्स
सोयाबीन, कॉर्न और सनफ्लॉवर ऑयल जैसे तेल, खासकर फास्ट फूड में इस्तेमाल होने वाले, ओमेगा-6 फैटी एसिड के कारण क्रॉनिक इंफ्लेमेशन बढ़ाते हैं। लगातार सेवन से हार्ट डिजीज का खतरा कई गुना बढ़ जाता है।
स्मोकिंग और वेपिंग
धूम्रपान और वेपिंग नाइट्रिक ऑक्साइड को नष्ट कर देते हैं। तंबाकू के धुएं में मौजूद फ्री रैडिकल्स ब्लड वेसल्स की परत को नुकसान पहुंचाते हैं, जिससे हार्ट डिजीज का रिस्क बढ़ता है।
एंटीसेप्टिक माउथवॉश
माउथवॉश मुंह में मौजूद उन अच्छे बैक्टीरिया को खत्म कर देता है जो नाइट्रेट को नाइट्रिक ऑक्साइड में बदलते हैं। इससे ब्लड प्रेशर बढ़ता है और दिल की बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है।
कैसे बढ़ाएं नाइट्रिक ऑक्साइड का स्तर?
कार्डियोलॉजिस्ट्स के अनुसार, डाइट और लाइफस्टाइल में कुछ बदलाव करके दिल की सेहत को बेहतर बनाया जा सकता है।
इसके लिए
हरी पत्तेदार सब्जियां जैसे पालक, केल और अरुगुला
चुकंदर और उसका जूस
लहसुन, प्याज़ और साइट्रस फल
अनार, ड्राईफ्रूट्स और डार्क चॉकलेट का सेवन लाभदायक है।
इसके अलावा रोजाना एक्सरसाइज, धूप में समय बिताना, पर्याप्त नींद और स्ट्रेस कंट्रोल भी नाइट्रिक ऑक्साइड का स्तर बनाए रखने में मदद करते हैं।