संगठित अपराध से निपटने के लिए सरकार कर्तव्यबद्ध

Edited By Archna Sethi,Updated: 22 Mar, 2023 07:25 PM

government duty bound to deal with organized crime

संगठित अपराध से निपटने के लिए सरकार कर्तव्यबद्ध

 चंडीगढ़, 22 मार्च- (अर्चना सेठी) हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश में बढ़ते संगठित अपराध को नियंत्रित करने के लिए कर्तव्यबद्ध है और इसी उद्देश्य के साथ विधानसभा में हरियाणा संगठित अपराध नियंत्रण विधेयक- 2023 पारित किया गया है।

 

विधानसभा के बजट सत्र के आखिरी दिन हरियाणा संगठित अपराध नियंत्रण विधेयक- 2023 पर चर्चा के दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि इस कानून के साथ, राज्य सरकार न केवल गैंगस्टरों, उनके मुखियाओं और संगठित आपराधिक गिरोहों के सदस्यों के खिलाफ प्रभावी कानूनी कार्रवाई सुनिश्चित करेगी, बल्कि इस तरह के मजबूत कानून द्वारा अपराधियों के खिलाफ ठोस और निवारक लेकिन कानून सम्मत कार्रवाई करने के लिए पुलिस को सशक्त बनाएंगे।

 

मुख्यमंत्री ने कहा कि इन संगठित अपराधों में शामिल लोगों पर नकेल कसते हुए अपराधों की आय से अर्जित संपत्ति को जब्त करने के लिए और इन अधिनियम के तहत अपराधों के मुकदमे से निपटने के लिए विशेष अदालती और विशेष अभियोजकों की व्यवस्था करने के लिए के लिए विशेष प्रावधान भी किए गए हैं।

 

मुख्यमंत्री ने अधिनियम की कुछ परिभाषाओं के संबंध में कांग्रेस द्वारा किए गए हंगामे पर स्पष्ट करते हुए कहा कि उक्त विधेयक में गैरकानूनी गतिविधि जारी रखना का अर्थ तत्समय लागू किसी विधि द्वारा प्रतिषिद्ध कोई गतिविधि, जो तीन वर्ष या उससे अधिक के कारावास से दण्डनीय कोई संज्ञेय अपराध है, जो संगठित अपराध सिंडिकेट के सदस्य के रूप में या ऐसे सिंडिकेट की ओर से या तो अकेले या संयुक्त रूप की गई है, जिसके संबंध में एक से अधिक आरोप-पत्र 10 वर्ष की पूर्ववर्ती अवधि के भीतर सक्षम न्यायालय के सम्मुख दायर किए गए हैं और उस न्यायालय द्वारा ऐसे अपराध का संज्ञान लिया गया है।

 

उन्होंने सदन को अवगत कराया कि विधेयक 25 (1) (ए) के प्रावधान के अनुसार इस अधिनियम के अधीन किसी संगठित अपराध वाले अपराध को करने के बारे में, पुलिस अधिकारी, जो उप पुलिस महानिरीक्षक के रैंक से नीचे का न हो, के पूर्व अनुमोदन के बिना, किसी पुलिस अधिकारी द्वारा कोई भी सूचना अभिलिखित नहीं की जाएगी। इसके अलावा, इस अधिनियम के उपबंधों के अधीन किसी अपराध का कोई भी अन्वेषण, पुलिस उप अधीक्षक के रैंक से नीचे के किसी अधिकारी द्वारा नहीं किया जाएगा।

Related Story

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!