Edited By Prachi Sharma,Updated: 19 Oct, 2025 07:37 AM

वृंदावन (मथुरा) (इंट.) : प्रसिद्ध श्री बांके बिहारी मंदिर का 54 साल से बंद पड़ा तोषखाना (खजाना घर) शनिवार को आखिरकार खोल दिया गया। करीब साढ़े 3 घंटे तक चली कार्रवाई में अंदर से कीमती आभूषण या सोने-चांदी का खजाना नहीं, बल्कि केवल धूल और कुछ पीतल के...
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वृंदावन (मथुरा) (इंट.) : प्रसिद्ध श्री बांके बिहारी मंदिर का 54 साल से बंद पड़ा तोषखाना (खजाना घर) शनिवार को आखिरकार खोल दिया गया। करीब साढ़े 3 घंटे तक चली कार्रवाई में अंदर से कीमती आभूषण या सोने-चांदी का खजाना नहीं बल्कि केवल धूल और कुछ पीतल के बर्तन ही मिले।
दरवाजा खुलने के बाद वन विभाग की विशेष टीम ने गैस और ऑक्सीजन स्तर की जांच की। अंदर 5 बाई 6 फुट की कोठरी में धूल का अंबार और 2-3 बक्से मिले, जिनमें केवल पीतल के बर्तन पाए गए। जांच पूरी होने के बाद तोषखाना को दोबारा सीलबंद कर दिया गया।
गोस्वामी समाज के एक धड़े का आरोप है कि जांच गुपचुप तरीके से की गई और उन्हें इसकी जानकारी नहीं दी गई। गौरतलब है कि ब्रिटिश शासनकाल में 1926 और 1936 में तोषखाने में चोरी की घटनाएं हो चुकी हैं। इसके बाद वर्ष 1971 में अदालत के आदेश पर इसके दरवाजे पर सील लगा दी गई थी, जो अब तक बरकरार थी। इससे पहले 1971 में जो भी कीमती खजाना मिला था उसे एक बक्से में बंद कर स्टेट बैंक ऑफ इंडिया में जमा करा दिया गया था।