Edited By Seema Sharma,Updated: 07 Jun, 2022 10:11 AM
कई देशों में चार दिन काम (Four Days Work Week) और तीन दिन की छुट्टी का फार्मूले पर काम चल रहा है। ऐसे में ब्रिटेन भी फोर डे वर्क वीक क्लब में शामिल होने की तैयारी कर रहा है।
इंटरनेशनल डेस्क: कई देशों में चार दिन काम (Four Days Work Week) और तीन दिन की छुट्टी का फार्मूले पर काम चल रहा है। ऐसे में ब्रिटेन भी फोर डे वर्क वीक क्लब में शामिल होने की तैयारी कर रहा है। सोमवार को ब्रिटेन में इसकी शुरुआत हुई जिसमें बैंकिंग, हॉस्पिटैलिटी, केयर और एनिमेशन स्टूडियो क्षेत्र की लगभग 70 कंपनियों को इस तरह की दुनिया की सबसे बड़ी पायलट योजना में भाग लेने के लिए साइन अप किया गया है। कर्मचारियों की भलाई पर कम काम के घंटों के प्रभाव की जांच करने के लिए ब्रिटेन की फर्मों के हजारों कर्मचारी सोमवार से शुरू हो रहे एक प्रमुख वैश्विक अध्ययन में भाग ले रहे हैं।
ये छह महीने का पायलट कार्यक्रम होगा। इसमें ऑक्सफोर्ड और कैम्ब्रिज विश्वविद्यालयों के शिक्षाविदों के साथ-साथ अमेरिका के बोस्टन कॉलेज के विशेषज्ञ भी शामिल होंगे। गैर-लाभकारी फर्मों के साथ 4 दिवसीय सप्ताह ग्लोबल के साथ-साथ यूके थिंक टैंक ऑटोनॉमी इस साल जून तक 30 यूके उद्यमों का अधिग्रहण करना चाहता है। एक बयान में कहा गया कि इस अध्ययन में 100:80:100 मॉडल का प्रयोग किया जाएगा। इसमें पूरे UK में स्थित और 30 से अधिक क्षेत्रों का प्रतिनिधित्व करने वाले 3,300 से अधिक श्रमिकों को अपने पूर्व उत्पादक प्रदर्शन के 100 प्रतिशत को बनाए रखने की प्रतिबद्धता के बदले में 80% समय के लिए अपने भुगतान का 100% वेतन मिलेगा।
बोस्टन कॉलेज में समाजशास्त्र के प्रोफेसर और पायलट योजना के प्रमुख शोधकर्ता जूलियट शोर ने कहा कि चार-दिवसीय सप्ताह को आम तौर पर कर्मचारियों, कंपनियों और जलवायु की मदद करने वाली ट्रिपल लाभांश नीति माना जाता है। कंपनियों का कहना है कि कर्मचारियों की काम और पर्सनल लाइफ के बीच संतुलन बैठाने के लिए यह पहल की जा रही है। उत्तरी लंदन में प्रेशर ड्रॉप ब्रेवरी के सह-संस्थापक सैम स्मिथ ने कहा कि कोरोना ने काम करने के तरीके और परिवार की अहमियत के बारे में सोचने पर मजबूर कर दिया। ऐसे में हम अपने कर्मचारियों के जीवन को बेहतर बनाने और दुनिया में एक प्रगतिशील बदलाव का हिस्सा बनने के लिए ऐसा कर रहे हैं। कर्मचारियों के मानसिक स्वास्थ्य के लिए यह कदम उठाना जरूरी था।