Edited By Tanuja,Updated: 22 Nov, 2025 04:45 PM

पाकिस्तान ने अफगान तालिबान को तुर्की के जरिए अंतिम अल्टीमेटम भेजा है कि वे TTP पर कार्रवाई करें, वरना इस्लामाबाद काबुल में सत्ता बदलाव को समर्थन देगा। पाकिस्तान अफगान विरोधी नेताओं से संपर्क में है। सीमा तनाव और TTP हमलों ने दोनों देशों में फिर...
International Desk: अफगानिस्तान में तालिबान की सत्ता पर अब सबसे बड़ा खतरा पाकिस्तान बन रहा है। सूत्रों के मुताबिक, इस्लामाबाद ने तुर्की के जरिए अफगान तालिबान को “आखिरी संदेश” भेजा है TTP के खिलाफ कार्रवाई करो, वरना काबुल में सत्ता बदलाव शुरू किया जाएगा। कई महीनों से चल रही बातचीत बेनतीजा रहने के बाद पाकिस्तान ने नाराज़ होकर कहा है कि अगर तालिबान TTP को नहीं रोकता, तो इस्लामाबाद तालिबान विरोधी ताकतों का खुलकर साथ देगा।यह उसी तरह की स्थिति है जैसी 90 के दशक में तालिबान के खिलाफ नॉर्दर्न अलायंस के समय थी।
तालिबान विरोधियों से पाकिस्तान का सीक्रेट संपर्क
भारत और अफगानिस्तान की बढ़ती नज़दीकी पाकिस्तान को चुभ रही है। यही वजह है कि पाकिस्तान ने कई बड़े अफगान नेताओं, जैसे हामिद करजई, अशरफ गनी, अहमद मसूद (NRF), अब्दुल रशीद दोस्तम, अफगानिस्तान फ्रीडम फ्रंट, से संपर्क बढ़ाना शुरू कर दिया है।सूत्रों का कहना है कि पाकिस्तान इन नेताओं को पॉलिटिकल स्पेस, सुरक्षित ठिकाना और ऑफिस देने को भी तैयार है।
सीमा तनाव फिर बढ़ा
बीते महीने अफगानिस्तान-पाकिस्तान बॉर्डर पर युद्ध जैसे हालात बने थे।अब TTP के हमलों ने स्थिति और भड़का दी है।पाकिस्तान कहता है: TTP अफगान जमीन से हमला कर रही है। जबकि तालिबान कहता है: हम किसी देश के खिलाफ अपनी जमीन का इस्तेमाल नहीं होने देंगे।दोनों के बीच यह तकरार अब तेजी से सैन्य टकराव की ओर बढ़ रही है।