Edited By Archna Sethi,Updated: 13 Jun, 2025 09:18 PM

46 नयी अत्याधुनिक एम्बुलेंसें पंजाब में एमरजैंसी सेवाओं को देंगी बढ़ावा
चंडीगढ़, 13 जून (अर्चना सेठी) पंजाब सरकार की राज्य में समय पर, सुलभ और मानक स्वास्थ्य देखभाल यकीनी बनाने के प्रति वचनबद्धता की पुष्टि करते हुये पंजाब के स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री डा. बलबीर सिंह ने आज 46 अत्याधुनिक एम्बुलेंसों को हरी झंडी देकर रवाना किया जो राज्य भर में एमरजैंसी डाक्टरी सेवाओं का और विस्तार करेंगी। नयी एम्बुलेंसें शामिल करने से पंजाब के एमरजैंसी एम्बुलेंस फ्लिट की संख्या 371 हो गई है, जिससे इसकी जीवन रक्षक क्षमता में काफ़ी विस्तार हुआ है।
इन नयी शामिल की एम्बुलेंसों में 7 ‘चाइल्ड मेमोरियल एम्बुलेंसें’ भी शामिल हैं जो इस साल 7 मई को समाना (पटियाला) में घटित सड़क हादसे में दुखदायी तौर पर अपनी जानें गंवाने वाले बच्चों की याद को समर्पित हैं। अत्याधुनिक मैडीकल उपकरणों के साथ लैस यह एम्बुलेंसें क्षेत्र में एमरजैंसी रिस्पांस को मज़बूत करते हुए उन बच्चों को श्रद्धांजलि के तौर पर काम करेंगी।
अन्य विवरण सांझे करते हुये डा. बलबीर सिंह ने बताया कि सभी नयी शामिल की गई एम्बुलेंसें अत्याधुनिक डाक्टरी उपकरणों के साथ लैस हैं जिनमें आक्सीजन और ऐंबू-बैग, जीवन-रक्षक दवाएँ और तुरंत रिस्पांस को यकीनी बनाने के लिए जीपीएस- आधारित ट्रेकिंग सिस्टम शामिल है। उन्होंने कहा कि शहरी क्षेत्रों में एम्बुलेंसों सेवा पीड़ितों तक 15 मिनट और ग्रामीण क्षेत्रों में 20 मिनट में पहुँच रही है, जोकि देश में सबसे बेहतर और अंतरराष्ट्रीय मापदण्डों के मुताबिक है। उन्होंने आगे कहा, ‘‘हमारा लक्ष्य रिस्पांस समय को 10 मिनट तक घटाना और यह यकीनी बनाना है कि गंभीर देखभाल सेवा गोल्डन ऑवर के अंदर मरीजों तक पहुँचे।’’
ज़िक्रयोग्य है कि 108 एम्बुलेंस सेवा जो पंजाब का सबसे भरोसेमन्द एमरजैंसी रिस्पांस नैटवर्क है, जिसने 2011 में अपनी शुरुआत से लेकर अब तक 30 लाख से अधिक नागरिकों को सेवाओं दी हैं और हादसों, दिल की बीमारियों सम्बन्धी आपात स्थितियों, माताओं की स्वास्थ्य समस्याओं और हादसों के दौरान गंभीर देखभाल प्रदान की है। डा. बलबीर सिंह ने कहा, ‘‘108 सेवा हमारी एमरजैंसी स्वास्थ्य देखभाल प्रणाली की रीढ़ की हड्डी है। इन नयी एम्बुलेंसों से हम यह यकीनी बना रहे हैं कि हर जरूरतमंद तक सेवाएं पहुंचाईं जाएँ।’’
स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि एमरजैंसी के बाद पहले घंटे को ‘‘गोल्डन ऑवर’’ माना जाता है, जहाँ समय पर डाक्टरी सहायता जानें बचा सकती है। उन्होंने कहा कि सड़क सुरक्षा फोर्स ( ऐसऐसऐफ) के नज़दीकी तालमेल के साथ काम करने वाली 108 एम्बुलेंसों ने मौके पर तुरंत डाक्टरी सहायता प्रदान करके मौतों को घटाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
डा. बलबीर सिंह ने पैरामैडिकस, ड्राइवरों और एमरजैंसी रिस्पांडरों की समर्पित टीमों की उनकी अथक सेवा के लिए प्रशंसा भी की।
बताने योग्य है कि ज़मीनी स्तर पर एमरजैंसी सेवाओं को मज़बूत करने के लिए नयी एम्बुलेंस पंजाब के अलग-अलग जिलों में तैनात की जाएंगी। इन जिलों में बरनाला ( 1), बठिंडा ( 1), फरीदकोट (1), फतेहगढ़ साहिब (3), फाजिल्का (1), फ़िरोज़पुर (1), गुरदासपुर (2), होशियारपुर (1), जालंधर (1), कपूरथला (2), लुधियाना (4), मानसा (2), मोगा (2), मोहाली (2), मुक्तसर साहिब (1), मालेरकोटला (2), एस. एस. एस. नगर (2), पठानकोट (2), पटियाला (11), रूपनगर (1), संगरूर (2), तरन तारन (1) शामिल हैं।