Edited By Tanuja,Updated: 02 Jun, 2025 02:19 PM

हाल के दिनों में पाकिस्तान को मुस्लिम देशों से कई मोर्चों पर आलोचना और असहयोग का सामना करना पड़ा है, जिससे उसकी अंतरराष्ट्रीय छवि को गंभीर झटका लगा है...
International Desk: हाल के दिनों में पाकिस्तान को मुस्लिम देशों से कई मोर्चों पर आलोचना और असहयोग का सामना करना पड़ा है, जिससे उसकी अंतरराष्ट्रीय छवि को गंभीर झटका लगा है। पाकिस्तान की विदेश नीति और आतंकवाद को लेकर ढुलमुल रवैये पर अब मुस्लिम देश भी सख्त हो गए हैं। हाल ही में एक अंतरराष्ट्रीय इस्लामी सहयोग संगठन (OIC) की उच्चस्तरीय बैठक के दौरान ईरान, सऊदी अरब, यूएई, मिस्र और इंडोनेशिया जैसे प्रमुख मुस्लिम देशों ने आतंकवाद को समर्थन देने वाले देशों की आलोचना की और बिना नाम लिए पाकिस्तान को कठघरे में खड़ा कर दिया।
बैठक के दौरान आतंकवाद से जुड़ी चिंताओं पर जब बात आई तो कई प्रतिनिधियों ने पाकिस्तान के आतंकियों को संरक्षण देने वाले रवैये की ओर इशारा किया। सूत्रों के अनुसार:
- ईरान ने बलूच विद्रोहियों और सीमा पार आतंकी गतिविधियों पर सख्त शब्दों में नाराज़गी जताई।
- सऊदी अरब ने वैश्विक मंचों पर "जिम्मेदार मुस्लिम राष्ट्र" बनने की आवश्यकता पर ज़ोर दिया।
- UAE और मिस्र ने आतंकवाद को धार्मिक चोला पहनाने वाले संगठनों की आर्थिक मदद रोकने की अपील की।
- इंडोनेशिया ने स्पष्ट किया कि "मुस्लिम विश्व की छवि को नुकसान पहुँचाने वाले किसी भी राष्ट्र का समर्थन नहीं किया जाएगा।"
शहबाज़ शरीफ हुए शर्मसार
बैठक में मौजूद पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज़ शरीफ के लिए यह क्षण अत्यंत शर्मनाक साबित हुआ। सूत्रों के मुताबिक, उन्होंने बैठक के बाद बंद कमरे में नाराज़गी जताई और कुछ अधिकारियों पर कूटनीतिक विफलता का ठीकरा फोड़ा।
आतंकवाद से दूरी बनाओ- संदेश साफ
इन मुस्लिम देशों का यह सामूहिक संदेश पाकिस्तान को साफ चेतावनी के रूप में देखा जा रहा है। "अब दुनिया चुप नहीं बैठेगी। जो देश आतंकियों को पालेंगे, वे खुद अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अलग-थलग पड़ जाएंगे।" FATF पहले ही पाकिस्तान को निगरानी सूची (Grey List) में डाल चुका है। अब मुस्लिम देशों के तेवर बदलना पाकिस्तान के लिए चेतावनी है कि उसका पारंपरिक "मुस्लिम एकता" का कवच अब ढाल नहीं बनेगा।