Edited By Anu Malhotra,Updated: 07 Jul, 2025 11:35 AM
स्ट्रोक यानी लकवा, एक खामोश हमला है जो ज़िंदगी को पलभर में बदल सकता है। हर साल दुनियाभर में लाखों लोग इसकी चपेट में आते हैं—कई अपनी जान गंवा देते हैं, तो कई हमेशा के लिए अपाहिज हो जाते हैं। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि आपके शरीर में बहता खून,...
नेशनल डेस्क: स्ट्रोक यानी लकवा, एक खामोश हमला है जो ज़िंदगी को पलभर में बदल सकता है। हर साल दुनियाभर में लाखों लोग इसकी चपेट में आते हैं—कई अपनी जान गंवा देते हैं, तो कई हमेशा के लिए अपाहिज हो जाते हैं। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि आपके शरीर में बहता खून, सिर्फ जीवन देने वाला तरल नहीं, बल्कि आपकी सेहत के कई गहरे राज़ भी छुपाए बैठा है?
हालिया शोध में एक चौंकाने वाला खुलासा हुआ है: वैज्ञानिकों ने पाया है कि आपका ब्लड ग्रुप भी स्ट्रोक के खतरे को सीधे तौर पर प्रभावित कर सकता है, खासतौर पर अगर आप 60 साल से कम उम्र के हैं। यानी आपका ब्लड ग्रुप यह तय कर सकता है कि आपको कम उम्र में स्ट्रोक का खतरा कितना है।
तो कौन से ब्लड ग्रुप वालों को सतर्क रहने की ज़रूरत है? और कौन हैं वो लोग जिनके लिए थोड़ी राहत की खबर है? आइए जानते हैं, क्या कहती है ताज़ा रिसर्च इस खतरनाक बीमारी और ब्लड ग्रुप के रिश्ते के बारे में।
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के मुताबिक हर साल दुनिया भर में लगभग 1.5 करोड़ लोग ब्रेन स्ट्रोक का शिकार होते हैं। इनमें से लगभग 50 लाख लोगों की मौत हो जाती है, जबकि बाकी 50 लाख लोग जिंदगीभर के लिए अपंग हो जाते हैं। यह एक ऐसा मूक खतरा है, जो अचानक आता है और सबकुछ बदल देता है।
अब ब्लड ग्रुप से तय होगा स्ट्रोक का खतरा?
अमेरिका के मैरीलैंड स्कूल ऑफ मेडिसिन (UMSOM) के वैज्ञानिकों ने इस बारे में एक गहन मेटा-एनालिसिस किया है, जिसके निष्कर्ष 'Neurology' नामक मेडिकल जर्नल में प्रकाशित हुए। इस रिसर्च में करीब 48,000 स्ट्रोक मरीजों और 5 लाख से ज्यादा हेल्दी लोगों का डेटा विश्लेषित किया गया और जो नतीजे सामने आए, उन्होंने मेडिकल साइंस को नई दिशा दी है।
किस ब्लड ग्रुप को सबसे ज्यादा खतरा?
-ब्लड ग्रुप A वालों को 60 साल से पहले स्ट्रोक होने का खतरा 16% ज्यादा पाया गया।
-जबकि सबसे आम ब्लड ग्रुप O वालों के लिए अच्छी खबर है — उनमें यह खतरा 12% कम देखा गया।
-B और AB ब्लड ग्रुप वालों में भी जोखिम है, लेकिन ‘A’ वालों की तुलना में थोड़ा कम।
-कुछ मामलों में AB ग्रुप को भी उच्च जोखिम वाला माना गया है, खासकर कुछ जातीय समूहों में।
आखिर क्यों होता है ऐसा?
वैज्ञानिकों का मानना है कि ब्लड ग्रुप A वालों के शरीर में Von Willebrand Factor और Factor VIII जैसे ब्लड क्लॉटिंग प्रोटीन का स्तर अधिक होता है। इससे खून गाढ़ा हो जाता है और इस्कीमिक स्ट्रोक का खतरा बढ़ जाता है। गौरतलब है कि इस्कीमिक स्ट्रोक, ब्रेन स्ट्रोक का सबसे आम प्रकार है और सभी स्ट्रोक मामलों में 87% इसी के होते हैं, जो ब्रेन में खून के थक्के के कारण होता है।
ब्लड ग्रुप कैसे तय करता है सेहत?
हमारा ब्लड ग्रुप, लाल रक्त कोशिकाओं की सतह पर मौजूद एंटीजन की बनावट पर आधारित होता है। यह बनावट ABO जीन द्वारा तय होती है और छोटे-छोटे आनुवंशिक अंतर हमारी सेहत पर बड़ा असर डाल सकते हैं — जैसे स्ट्रोक, दिल की बीमारी या खून के थक्के बनने की प्रवृत्ति।
डरें नहीं, समझदारी से लें काम
यह जानकारी किसी को डराने के लिए नहीं है, बल्कि जागरूक करने के लिए है।
अगर आपका ब्लड ग्रुप 'A' है, तो यह जरूरी नहीं कि आपको स्ट्रोक ही होगा, लेकिन जोखिम थोड़ा बढ़ सकता है। इसी तरह, 'O' ब्लड ग्रुप वाले पूरी तरह स्ट्रोक से सुरक्षित नहीं हैं। ये केवल सांख्यिकीय डेटा हैं, न कि भविष्यवाणी।
क्या करें?
-अपने ब्लड ग्रुप को जानें
-स्मोकिंग और एल्कोहल से दूरी बनाएं
-संतुलित आहार और नियमित एक्सरसाइज करें
-ब्लड प्रेशर और शुगर लेवल की समय-समय पर जांच कराएं
- परिवार में स्ट्रोक का इतिहास है तो डॉक्टर से सलाह लें