Edited By Mehak,Updated: 03 Jun, 2025 04:17 PM

भारत के ऑपरेशन सिंदूर को लेकर चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (CDS) जनरल अनिल चौहान ने एक बड़ा और अहम खुलासा किया है। उन्होंने बताया कि आतंकी ठिकानों पर हमले के सिर्फ 5 मिनट बाद ही भारत ने पाकिस्तान को इसकी जानकारी दे दी थी। इतना ही नहीं, भारत ने पाकिस्तानी...
नेशनल डेस्क : भारत के ऑपरेशन सिंदूर को लेकर चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (CDS) जनरल अनिल चौहान ने एक बड़ा और अहम खुलासा किया है। उन्होंने बताया कि आतंकी ठिकानों पर हमले के सिर्फ 5 मिनट बाद ही भारत ने पाकिस्तान को इसकी जानकारी दे दी थी। इतना ही नहीं, भारत ने पाकिस्तानी सेना को साफ शब्दों में चेतावनी भी दी थी कि अगर उन्होंने कोई प्रतिक्रिया दी, तो भारत और भी ज्यादा ताकत से जवाब देगा।
हमला सिर्फ आतंकियों पर, पाकिस्तान को दी गई थी चेतावनी
जनरल चौहान ने साफ किया कि भारत का निशाना सिर्फ आतंकियों पर था, न कि पाकिस्तान की सेना या आम जनता पर। उन्होंने कहा कि हमने यह बात पाकिस्तान को तुरंत बता दी थी। उन्होंने कहा, 'हमने आतंकी ठिकानों को नष्ट करने के पांच मिनट बाद ही पाकिस्तान के DGMO (Director General of Military Operations) से संपर्क किया और स्पष्ट कर दिया कि अगर पाकिस्तान जवाबी हमला करता है, तो अगली बार हम और ज़्यादा सख्ती से जवाब देंगे। हमारे पास उनसे कहीं ज़्यादा शक्तिशाली हथियार मौजूद हैं।'
पुणे विश्वविद्यालय में किया खुलासा
सीडीएस अनिल चौहान यह बात सावित्रीबाई फुले पुणे विश्वविद्यालय में आयोजित एक कार्यक्रम 'फ्यूचर वॉर्स एंड वारफेयर' के दौरान कह रहे थे। इस मंच पर उन्होंने आने वाले समय में युद्ध की बदलती रणनीतियों और भारत की रक्षा क्षमताओं पर भी बात की।
''पहलगाम हमला – बर्बरता की हद''
सीडीएस ने हाल ही में जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले को 'क्रूरता की चरम सीमा' बताया। उन्होंने कहा कि, 'धर्म के नाम पर लोगों के सिर में गोली मारी गई, वह भी उनके बच्चों और परिवार के सामने। यह समाज में नफरत पैदा करता है। यह भारत में पहली आतंकी घटना नहीं थी। भारत दुनिया में सबसे ज़्यादा आतंकी हमलों का शिकार रहा है, जिनमें अब तक करीब 20,000 लोग मारे जा चुके हैं।'
पाकिस्तान के ड्रोन और मिसाइल हमले का जवाब
सीडीएस चौहान ने यह भी कहा कि भारत ने पाकिस्तान की ओर से किए गए ड्रोन और मिसाइल हमलों को नाकाम किया। उन्होंने बताया कि, 'हम जानते थे कि हमारे पास बेहतर काउंटर-ड्रोन सिस्टम है। दोनों देशों ने अलग-अलग युद्ध क्षमताएं विकसित की हैं, लेकिन भारत की वास्तविक क्षमता तो युद्ध के मैदान में अभी पूरी तरह इस्तेमाल ही नहीं हुई है।'