Movie Review: दोस्ती और पैसे के बीच उलझनों की दिलचस्प कहानी है फिल्म संगी, पढ़ें रिव्यू

Updated: 20 Jan, 2025 12:15 PM

sangee movie review in hindi

यहां पढ़ें कैसी है फिल्म संगी

फिल्म-संगी
स्टारकास्ट : शारिब हाशमी,विद्या मालवडे,संजय बिश्नोई,श्याम राज पाटिल,गौरव मोरे
निर्देशक : सुमित कुलकर्णी
रेटिंग- 3.5*


Sangee: बॉलीवुड ने दोस्ती पर बनी फिल्मों के जरिए हमेशा दर्शकों का दिल जीता है। ‘शोले’, ‘दिल चाहता है’, ‘थ्री इडियट्स’, ‘जिंदगी न मिलेगी दोबारा’ से लेकर हालिया ‘मडगांव एक्सप्रेस’ तक, इन फिल्मों ने दोस्ती के हर पहलू को खूबसूरती से पेश किया है। इसी कड़ी को आगे बढ़ाने वाली फिल्म है सुमित मोहन कुलकर्णी की ‘संगी’, जो दोस्ती, पैसे और रिश्तों के बीच उलझन भरी कहानी को हल्के-फुल्के अंदाज में पेश करती है। फिल्म का डायलॉग, “दोस्तों के बीच इंटरेस्ट आ गया, तो दोस्ती में इंटरेस्ट खत्म हो जाता है,” कहानी का मूल सार है। यह दर्शाती है कि पैसा दोस्ती को कैसे बदल सकता है। आइए जानते हैं कैसी है फिल्म संगी।

कहानी
कहानी तीन दोस्तों  बामन कुलकर्णी (शारिब हाशमी), अखिल (श्यामराज पाटिल) और करण मेहता (संजय बिश्नोई) के इर्द-गिर्द घूमती है। बामन एक महत्वाकांक्षी लेकिन असफल बिजनेसमैन है, जो पहले दो बार कारोबार में असफल होकर भारी नुकसान उठा चुका है। अब उसे एक नए बिजनेस के लिए 15 लाख रुपये की सख्त जरूरत है। बामन इस बार अपने दोस्तों को बेवकूफ बनाकर पैसे उधार लेने की योजना बनाता है। हालांकि, अखिल को पहले से ही बामन के इरादों पर शक है, क्योंकि वह उसे पहले ही 18 लाख रुपये उधार दे चुका है। करण और उसकी पत्नी मोहिनी (विद्या मालवडे) के बीच की बातचीत और उनकी सास के साथ हल्की-फुल्की झड़पें फिल्म में हास्य का पुट जोड़ती हैं।

फिल्म का असली टकराव तब शुरू होता है जब बामन पैसे लौटाने से इनकार कर देता है और दोस्ती में खटास आ जाती है। क्या ये दोस्त अपनी बचपन की दोस्ती को बचा पाएंगे या फिर पैसे के चक्कर में सबकुछ खत्म हो जाएगा? यह जानने के लिए आपको फिल्म देखनी होगी।

अभिनय
फिल्म पूरी तरह से शारिब हाशमी के कंधों पर टिकी है, और उन्होंने अपनी भूमिका को बखूबी निभाया है। बामन के किरदार में उनकी परफॉर्मेंस बेहद प्रभावशाली है। हल्के-फुल्के मजाक से लेकर गंभीर दृश्यों तक, शारिब हर जगह बेहतरीन रहे हैं। श्यामराज पाटिल और संजय बिश्नोई ने भी अपने किरदारों में अच्छा प्रदर्शन किया है। विद्या मालवडे ने अपने सीमित स्क्रीन टाइम में भी प्रभाव छोड़ा है।

निर्देशन
सुमित मोहन कुलकर्णी ने फिल्म को सरल और प्रभावी तरीके से पेश किया है। कहानी का प्रवाह सीधा और दर्शकों से जुड़ाव रखने वाला है। छोटे बजट की यह फिल्म स्लाइस ऑफ लाइफ का अनुभव देती है, जिसमें दोस्ती की सच्चाई और भावनाओं को सरलता से दिखाया गया है। हालांकि, कुछ दृश्यों में कहानी की गति थोड़ी धीमी हो जाती है और उधार मांगने वाले हिस्से में दोहराव महसूस होता है। संक्षेप में कहा जाए तो अगर आप हल्की-फुल्की और भावनात्मक कहानियों में रुचि रखते हैं, तो ‘संगी’ आपके लिए एक परफेक्ट फिल्म है।

Trending Topics

IPL
Royal Challengers Bengaluru

190/9

20.0

Punjab Kings

184/7

20.0

Royal Challengers Bengaluru win by 6 runs

RR 9.50
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!