भारत जोड़ो यात्रा के दौरान बहुत कुछ सीखा, बीच में थोड़ा सा अहंकार आ गया...लेकिन फिर: राहुल गांधी

Edited By Anu Malhotra,Updated: 30 Jan, 2023 01:59 PM

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जम्मू-कश्मीर में भारत जोड़ो यात्रा का आज अंतिम दिन है। इस दौरान कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता विपक्षी दल के बड़े नेता भाइयों और बहनों आप सभी एक बाहत बाहत स्वागत है।

नेशनल डेस्क:  जम्मू-कश्मीर में भारत जोड़ो यात्रा का आज अंतिम दिन है। इस दौरान कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता विपक्षी दल के बड़े नेता भाइयों और बहनों आप सभी एक बाहत बाहत स्वागत है।  हम आज यहां खड़े हैं, लेकिन आप में से किसी को सर्दी नहीं लग रही है। बारिश में आप भीगे नहीं, गर्मी में गर्मी नहीं लगी क्यूंकि देश की शक्ति आप में हैं।  मैंने भारत जोड़ो यात्रा के दौरान बहुत कुछ सीखा है। 

राहुल गांधी ने कहा कि मैं कन्याकुमारी से चला था। पूरे देश में हम लोग पैदल चले। सच बताऊं कि मुझे लगा कन्याकुमारी से कश्मीर चलने में मुश्किल नहीं होगी। फिजकली ये काम मुश्किल नहीं होगा। ये मैंने सोचा था। शायद मैं काफी वर्जिश करता हूं, थोड़ा सा अहंकार आ गया, जैसे आ जाता है। मगर फिर बात बदल गई।  कन्याकुमारी से चलने के 5-7 दिन चलने के बाद जबरदस्त प्रॉब्लम हुई थी। थोड़ा अहंकार उतर गया, मैं सोचने लगा कि जो 3500 किलोमीटर हैं, उन्हें चल पाऊंगा कि नहीं। मुझे जो आसान काम लगा, वो काफी मुश्किल हो गया। किसी न किसी तरह से मैंने ये काम पूरा कर लिया। 

राहुल गांधी ने जनता को संबोधित करते हुए कहा कि  काफी दर्द सहना पड़ा, सह लिया। बहुत कुछ सीखने को मिला। रास्ते में एक दिन दर्द हो रहा था। फिर  मेरे पास एक  छोटी सी बच्ची दौड़ती हुई आई और कहने लगी कि मैंने आपके लिए कुछ लिखा है। मैंने कहा कि अभी मत पढ़ो, बाद में पढ़ना। वो गले लगकर भाग गई। मैंने सोचा कि पढ़ता हूं कि उस लड़की ने क्या लिखा। उसने लिखा था- मुझे दिख रहा है कि आपके घुटने में दर्द है।  लेकिन मै जानती हूं कि आप अपने लिए नहीं, मेरे और मेरे भविष्य के लिए चल रहे हो। उसी पल मेरा दर्द उस दिन के लिए गायब हो गया। 

 4 भिखारी बच्चों की कहानी
इतना ही नहीं भाषण के दौरान राहुल गांधी ने 4 भिखारी बच्चों की कहानी भी सुनाई। इ स दौरान उन्होंने कहा कि यात्रा के दौरान मै कश्मीर में चल रहा था तो चार बच्चे आए. पता नहीं कहना चाहिए या नहीं वो भिखारी थे, कपड़े नहीं थे, थोड़ी मिट्टी थी।  उनको ठंड लग रही थी, कांप रहे थे. शायद उनको खाना नहीं मिला था।  मैंने सोचा कि अगर ये जैकेट नहीं पहन रहे हैं तो मुझे भी नहीं पहनना चाहिए। जब मैंने ये खत्म किया, मैं चल रहा था। मेरे साथ चलने वाले एक शख्स ने मेरे कान में बोला, ये बच्चे गंदे हैं, इनके पास आपको जाना चाहिए।  मैंने कहा वो आपसे और मुझसे दोनों से साफ हैं। तो देश में कभी कभी ये विचार धारा दिखाई दे जाती है.

भाजपा का कोई नेता यहां पैदल ऐसे नहीं चल सकता
वहीं ,मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए राहुल ने कहा कि मोदी जी, अमित शाह जी, RSS के लोगों ने हिंसा नहीं देखी है। वे डरते हैं। भाजपा का कोई नेता यहां पैदल ऐसे नहीं चल सकता इसलिए नहीं कि जम्मू कश्मीर के लोग उन्हें चलने नहीं देंगे बल्कि इसलिए क्योंकि वो डरते हैं। 

इसके आगे उन्होंने कहा कि यहां सुबह से भारी बर्फबारी हो रही है। इसके बाद भी कार्यकर्ताओं का उत्साह कम नहीं है। सुबह से कार्यालय के बाहर कार्यकर्ताओं की भारी भीड़ देखी गई।  बता दें कि आज 30 जनवरी को राहुल गांधी ने कांग्रेस मुख्यालय में तिरंगा फहराकर भारत जोड़ो यात्रा का समापन किया।

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