Edited By Anu Malhotra,Updated: 11 Jul, 2025 09:05 AM

आधार कार्ड अब सिर्फ एक दस्तावेज नहीं, बल्कि भारतीय नागरिकों की पहचान और सरकारी सेवाओं का आधार बन चुका है। लेकिन इसी अहमियत के साथ इसकी सुरक्षा और प्रमाणिकता को लेकर चिंताएं भी बढ़ी हैं, खासकर अवैध प्रवासियों द्वारा फर्जी दस्तावेजों के सहारे आधार...
नई दिल्ली: आधार कार्ड अब सिर्फ एक दस्तावेज नहीं, बल्कि भारतीय नागरिकों की पहचान और सरकारी सेवाओं का आधार बन चुका है। लेकिन इसी अहमियत के साथ इसकी सुरक्षा और प्रमाणिकता को लेकर चिंताएं भी बढ़ी हैं, खासकर अवैध प्रवासियों द्वारा फर्जी दस्तावेजों के सहारे आधार कार्ड बनवाने के मामलों को लेकर। ऐसे में अब UIDAI (भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण) ने आधार रजिस्ट्रेशन और अपडेट की प्रक्रिया में बड़े बदलाव करने का फैसला लिया है।
अब आधार बनवाना पहले जैसा आसान नहीं होगा
UIDAI की नई रणनीति के तहत अब नए वयस्क नागरिकों के लिए आधार पंजीकरण की प्रक्रिया को काफी कड़ा और सुरक्षित बनाया जा रहा है। अब से हर दस्तावेज की दोहरी जांच होगी और डिजिटल वेरिफिकेशन से फर्जीवाड़े की संभावना लगभग खत्म कर दी जाएगी।
किन दस्तावेजों से होगा अब मिलान?
अब आधार पंजीकरण के लिए जिन दस्तावेजों की जानकारी मांगी जाएगी, उनका ऑनलाइन डेटाबेस से क्रॉस-वेरिफिकेशन किया जाएगा। इसमें शामिल होंगे:
-पासपोर्ट
-राशन कार्ड
-जन्म प्रमाणपत्र
-मैट्रिकुलेशन सर्टिफिकेट
-पैन कार्ड
-ड्राइविंग लाइसेंस
-मनरेगा डेटा
भविष्य में बिजली बिल जैसे अन्य दस्तावेज भी
UIDAI द्वारा विकसित किया गया एक नया टूल इन सभी दस्तावेजों की दोहरी डिजिटल जांच करेगा ताकि हर रजिस्ट्रेशन पूरी तरह प्रमाणिक हो।
अवैध प्रवासियों की एंट्री होगी बंद
हाल के वर्षों में सामने आया था कि अवैध प्रवासी, फर्जी दस्तावेजों का उपयोग कर आधार कार्ड बनवाने में कामयाब हो रहे थे। इसके जरिए वे: सरकारी योजनाओं का लाभ लेते थे मतदाता सूची में नाम जुड़वाते थे और नागरिकता तक का दावा करते थे
अब UIDAI ने राज्यों को यह जिम्मेदारी दी है कि हर व्यक्ति की गहन जांच के बाद ही आधार जारी किया जाए। इससे ऐसे फर्जीवाड़ों पर रोक लगने की उम्मीद है।
कितने आधार अब तक जारी हो चुके हैं?
-भारत में अब तक 140 करोड़ से ज्यादा आधार कार्ड जारी किए जा चुके हैं।
-इनमें कई आधार उन व्यक्तियों के भी हैं जो अब जीवित नहीं हैं।
-वयस्क नागरिकों में आधार कवरेज लगभग पूरा हो चुका है।
-अब तो नवजात शिशुओं को भी जन्म के तुरंत बाद आधार जारी किया जा रहा है।
-लेकिन, अब वयस्कों के लिए आधार बनवाने की प्रक्रिया को और कठोर किया गया है ताकि आधार का इस्तेमाल केवल भारतीय नागरिकों के हाथों में ही सीमित रहे।
KYC होगी और मजबूत
-नई प्रक्रिया के तहत अब KYC (Know Your Customer) प्रक्रिया भी पहले से कहीं अधिक मजबूत और भरोसेमंद होगी। इससे:
-बैंकों, मोबाइल कंपनियों और अन्य संस्थाओं में
-आधार आधारित पहचान पूरी तरह फुलप्रूफ और डिजिटल होगी
-जिससे फ्रॉड और डुप्लिकेट पहचान के मामलों में भारी गिरावट आ सकती है