Edited By Prachi Sharma,Updated: 28 Jan, 2024 08:33 AM
किसी राजा ने एक कैदी को मौत की सजा सुनाई। सजा सुनकर कैदी आपा खो बैठा। वह बादशाह को गालियां देने लगा। कैदी दरबार के आखिरी कोने में खड़ा
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Inspirational Story: किसी राजा ने एक कैदी को मौत की सजा सुनाई। सजा सुनकर कैदी आपा खो बैठा। वह बादशाह को गालियां देने लगा। कैदी दरबार के आखिरी कोने में खड़ा था। इसलिए उसकी गालियां बादशाह को सुनाई नहीं पड़ रही थीं। बादशाह ने अपने वजीर से पूछा कि ‘‘वह क्या कह रहा है ?’’
इस पर वजीर ने बताया, ‘‘महाराज, कैदी कह रहा है कि वे लोग कितने अच्छे होते हैं जो अपने क्रोध को पी जाते हैं और दूसरों को क्षमा कर देते हैं।”
यह सुनकर बादशाह को दया आ गई और उसने कैदी को माफ कर दिया लेकिन दरबारियों में एक व्यक्ति था जो वजीर से जलता था।
उसने कहा, ‘‘महाराज वजीर ने आपको गलत बताया है। यह व्यक्ति आपको गंदी-गंदी गालियां दे रहा है। आप इसको माफ मत करिए।”
उसकी बात सुनकर बादशाह गुस्सा हो गया और दरबारी से बोला, ‘‘मुझे वजीर की बात ही सही लगी क्योंकि उसने झूठ भी बोला है तो किसी की भलाई के लिए। इसके अंदर भलाई का जज्बा तो है जबकि तुम दरबार में रहने के योग्य नहीं हो। तुम्हें तुरंत बेदखल किया जाता है।