Edited By Parveen Kumar,Updated: 29 Dec, 2025 09:00 PM

औद्योगिक मोर्चे पर भारत के लिए यह खबर बड़ी राहत लेकर आई है। अमेरिकी हाई टैरिफ और वैश्विक दबावों के बावजूद भारतीय औद्योगिक सेक्टर ने पिछले दो सालों में नवंबर के महीने में शानदार प्रदर्शन किया है। नवंबर 2025 में औद्योगिक उत्पादन में जबरदस्त तेजी दर्ज...
नेशनल डेस्क: औद्योगिक मोर्चे पर भारत के लिए यह खबर बड़ी राहत लेकर आई है। अमेरिकी हाई टैरिफ और वैश्विक दबावों के बावजूद भारतीय औद्योगिक सेक्टर ने पिछले दो सालों में नवंबर के महीने में शानदार प्रदर्शन किया है। नवंबर 2025 में औद्योगिक उत्पादन में जबरदस्त तेजी दर्ज की गई और यह सालाना आधार पर बढ़कर 6.7 प्रतिशत पहुंच गया, जबकि एक साल पहले इसी अवधि में यह वृद्धि 5 प्रतिशत थी। यह आंकड़ा अमेरिका से लेकर चीन और पाकिस्तान तक को चौंकाने वाला माना जा रहा है।
फेस्टिव सीजन के दौरान अक्टूबर में आई सुस्ती के बाद अब औद्योगिक उत्पादन में फिर से मजबूती के संकेत मिलने लगे हैं। यह तेजी खास तौर पर विनिर्माण गतिविधियों में सुधार और मांग में धीरे-धीरे लौट रही स्थिरता को दर्शाती है। इससे आने वाले महीनों में औद्योगिक क्षेत्र के बेहतर प्रदर्शन की उम्मीदें और मजबूत हुई हैं।
औद्योगिक मोर्चे पर बड़ी राहत
खनन और विनिर्माण क्षेत्रों के दमदार प्रदर्शन के चलते नवंबर 2025 में देश की औद्योगिक उत्पादन वृद्धि दर दो साल के उच्च स्तर 6.7 प्रतिशत पर पहुंच गई। सोमवार को जारी आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक, औद्योगिक उत्पादन को मापने वाला इंडेक्स ऑफ इंडस्ट्रियल प्रोडक्शन (IIP) नवंबर 2024 में 5 प्रतिशत बढ़ा था। इससे पहले सबसे ज्यादा वृद्धि नवंबर 2023 में 11.9 प्रतिशत दर्ज की गई थी।
अक्टूबर के आंकड़ों में भी संशोधन
राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (NSO) ने अक्टूबर 2025 के IIP आंकड़ों में भी संशोधन किया है। अक्टूबर की औद्योगिक उत्पादन वृद्धि को पहले जारी किए गए 0.4 प्रतिशत के अस्थायी अनुमान से बढ़ाकर 0.5 प्रतिशत कर दिया गया है, जो सेक्टर में धीरे-धीरे लौट रही मजबूती का संकेत देता है।
विनिर्माण और खनन ने संभाला मोर्चा
नवंबर 2025 में विनिर्माण क्षेत्र का उत्पादन सालाना आधार पर 8 प्रतिशत बढ़ा, जबकि एक साल पहले इसी महीने में यह वृद्धि 5.5 प्रतिशत थी। खनन क्षेत्र में भी उल्लेखनीय सुधार देखने को मिला और नवंबर में इसका उत्पादन 5.4 प्रतिशत बढ़ा, जबकि नवंबर 2024 में यह बढ़ोतरी सिर्फ 1.9 प्रतिशत रही थी।
बिजली क्षेत्र ने बढ़ाई चिंता
हालांकि बिजली उत्पादन के मोर्चे पर तस्वीर उतनी सकारात्मक नहीं रही। नवंबर 2025 में बिजली उत्पादन में 1.5 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई, जबकि पिछले साल इसी अवधि में इसमें 4.4 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई थी।