Edited By Niyati Bhandari,Updated: 15 Feb, 2023 07:46 AM
विजया यानि हर काम में विजय दिलाने वाली। फाल्गुन माह के कृष्ण पक्ष को विजया एकादशी मनाई जाती है। एकादशी का व्रत सारे व्रतों में से प्रमुख माना जाता है। इस व्रत को करने से व्यक्ति अंत समय में वैकुंड धाम पाता है।
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Vijaya Ekadashi: विजया यानि हर काम में विजय दिलाने वाली। फाल्गुन माह के कृष्ण पक्ष को विजया एकादशी मनाई जाती है। एकादशी का व्रत सारे व्रतों में से प्रमुख माना जाता है। इस व्रत को करने से व्यक्ति अंत समय में वैकुंड धाम पाता है। ग्रहों के प्रभाव को कम करने के लिए एकादशी व्रत बहुत ही महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है और विजया एकादशी का व्रत करने से व्यक्ति को हर काम में विजय मिलती है। कहते हैं पुराने समय में राजा-महाराजा बड़े-बड़े युद्ध को जीतने के लिए इस व्रत का पालन करते थे। लेकिन इस बार की विजया एकादशी को लेकर काफी कन्फ्यूजन की स्थिति बन रही है कि एकादशी 16 को मनाई जाएगी या 17 को। तो आइए जानते हैं कि एकादशी का व्रत करने की सही तिथि कौन सी है।
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When will Ekadashi be celebrated this time इस बार कब मनाई जाएगी एकादशी: पंचांग के अनुसार विजया एकादशी का प्रारंभ 16 फरवरी को प्रातः 04 बजकर 02 मिनट पर हो रहा है और 17 फरवरी रात्रि 01 बजकर 19 पर इसका समापन होगा। उदया तिथि के अनुसार 16 को ही एकादशी मनाई जाएगी। वैष्णव संप्रदाय के लोग 17 को एकादशी मनाएंगे।
What not to do on Vijaya Ekadashi विजया एकादशी के दिन क्या न करें: एकादशी के दिन खास तौर पर चावल खाने से परहेज करें।
जो लोग व्रत रखते हैं वो इस दिन अन्न न खाएं।
चावल खाना भी इस दिन निषेध है।
फालतू बातों में अपना ध्यान न लगाएं और अपशब्द बोलने से बचें।
किसी भी तरह का नशा न करें।
What to do on Vijaya Ekadashi एकादशी के दिन क्या करें:
एकादशी के दिन ज्यादा से ज्यादा भगवान का नाम जाप करें।
भगवान विष्णु के सामने व्रत और दान का संकल्प करें।
ईमानदारी से काम करें।
भगवान विष्णु के इन मंत्रों का जाप करें:
ॐ नमो भगवते वासुदेवाय
ॐ विष्णवे नम:
ॐ हूं विष्णवे नम:
ॐ नमो नारायण। श्री मन नारायण नारायण हरि हरि।
श्रीकृष्ण गोविन्द हरे मुरारे। हे नाथ नारायण वासुदेवाय।।
ॐ नारायणाय विद्महे। वासुदेवाय धीमहि। तन्नो विष्णु प्रचोदयात्।।