पाकिस्तान में हिंदू लड़कियों से जबरदस्ती... पुलिस ने लिया एक्शन

Edited By Parveen Kumar,Updated: 21 Jun, 2025 01:14 AM

hindu girls in pakistan were raped  police took action

पाकिस्तान के सिंध प्रांत में अल्पसंख्यक हिंदू समुदाय की तीन नाबालिग बहनों और उनके 13 वर्षीय चचेरे भाई को जबरन इस्लाम धर्म में परिवर्तित करने की कोशिश को पुलिस ने नाकाम कर दिया है।

नेशनल डेस्क: पाकिस्तान के सिंध प्रांत में अल्पसंख्यक हिंदू समुदाय की तीन नाबालिग बहनों और उनके 13 वर्षीय चचेरे भाई को जबरन इस्लाम धर्म में परिवर्तित करने की कोशिश को पुलिस ने नाकाम कर दिया है। शुक्रवार, 20 जून को पुलिस ने चारों को हैदराबाद शहर से बरामद कर लिया, जहां उन्हें कथित रूप से एक व्यक्ति द्वारा बहला-फुसलाकर ले जाया गया था।

परिवार की अपील पर हरकत में आई पुलिस

तीनों बहनों की उम्र 16, 19 और 22 साल है, जबकि उनके चचेरे भाई की उम्र सिर्फ 13 वर्ष है। इनके परिजनों ने यह आरोप लगाया कि बच्चों को बहकाकर जबरन इस्लाम कबूल करवाया जा रहा था। इस मुद्दे पर लड़कियों की माताओं ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर प्रशासन से मदद की अपील की थी, जिसके बाद हिंदू समुदाय, पंचायत और स्थानीय नेताओं के दबाव में पुलिस ने त्वरित कार्रवाई की।

धर्मांतरण कराने वाले आरोपी को किया गया गिरफ्तार

वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक गुलाम नबी कीरियो ने बताया कि धर्मांतरण कराने के प्रयास में मुख्य संदिग्ध को गिरफ्तार कर लिया गया है। उन्होंने कहा कि चारों बच्चे बुधवार, 18 जून को अपने घर से बिना बताए निकल गए थे, जिसके कुछ घंटे बाद उनका एक वीडियो सामने आया। वीडियो में लड़कियां और उनका भाई कह रहे थे कि उन्होंने अपनी इच्छा से इस्लाम धर्म स्वीकार किया है, और अपने परिवार पर उन्हें नुकसान पहुंचाने की धमकी देने का आरोप भी लगाया।

प्रेस कॉन्फ्रेंस और समुदाय की प्रतिक्रिया

बच्चों के वीडियो के सामने आने के बाद उनकी माताओं ने मीडिया से बात की और दावा किया कि यह सब जबरन कराया गया है।
माताओं ने विशेष रूप से अपने 13 वर्षीय बेटे की उम्र का हवाला देते हुए कहा कि वह इतना समझदार नहीं है कि धर्म बदलने जैसा बड़ा फैसला खुद ले सके।

“यह सिर्फ हिंदुओं की नहीं, सिंध की बेटियां हैं” – राजेश कुमार

हिंदू पंचायत के प्रमुख राजेश कुमार ने इस घटना पर कड़ी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा, “यह केवल एक पारिवारिक मामला नहीं, बल्कि एक सांप्रदायिक त्रासदी है। ये लड़कियां सिर्फ हिंदू समुदाय की नहीं, सिंध की बेटियां हैं।” राजेश कुमार ने सवाल उठाया कि क्या इतनी कम उम्र की लड़कियां इतनी परिपक्व हो सकती हैं कि वे धर्म परिवर्तन जैसा फैसला खुद ले सकें?

गरीबों के मामलों में कार्रवाई नहीं होती – हिंदू पंचायत

राजेश कुमार ने यह भी आरोप लगाया कि पुलिस और प्रशासन सिर्फ प्रभावशाली परिवारों के मामलों में ही सक्रियता दिखाते हैं, जबकि जो लड़कियां गरीब या अशिक्षित पृष्ठभूमि से आती हैं, उनके मामलों में अक्सर कोई कार्रवाई नहीं होती।

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