Edited By Rohini Oberoi,Updated: 24 Jun, 2025 08:51 AM

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक बेहद अहम घोषणा करते हुए बताया कि ईरान और इजरायल के बीच पूर्ण युद्धविराम (सीजफायर) पर सहमति बन गई है। ट्रंप ने यह ऐलान अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'ट्रुथ सोशल' पर किया। उन्होंने कहा कि दोनों देश अब मध्य पूर्व...
इंटरनेशनल डेस्क। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक बेहद अहम घोषणा करते हुए बताया कि ईरान और इजरायल के बीच पूर्ण युद्धविराम (सीजफायर) पर सहमति बन गई है। ट्रंप ने यह ऐलान अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'ट्रुथ सोशल' पर किया। उन्होंने कहा कि दोनों देश अब मध्य पूर्व में शांति बहाली के लिए तैयार हो गए हैं जो लंबे समय से जारी तनाव के बाद एक बड़ी राहत की खबर है।
ट्रंप ने किया सीजफायर का औपचारिक ऐलान
ट्रंप ने अपनी पोस्ट में लिखा, बधाई हो सभी को! ईरान और इजरायल के बीच पूर्ण और अंतिम सीजफायर पर सहमति बन गई है। उन्होंने इसकी प्रक्रिया भी स्पष्ट की: यह सीजफायर 6 घंटे के भीतर लागू हो जाएगा जिसमें पहले ईरान को पालन करना होगा। ईरान के पालन के बाद 12 घंटे बाद इजरायल भी सीजफायर में शामिल हो जाएगा। 24 घंटे बाद इस युद्ध को औपचारिक तौर पर समाप्त माना जाएगा।
ट्रंप ने इस फैसले के लिए दोनों देशों की सहनशक्ति, साहस और बुद्धिमत्ता की सराहना की। उन्होंने यह भी बताया कि यह फैसला तीन ईरानी परमाणु स्थलों पर अमेरिकी हमले के बाद आया है जिसे इस संघर्ष में एक बड़ा मोड़ माना जा रहा है।
12 दिन चला था युद्ध, ईरान ने भी दागी थी मिसाइलें
गौरतलब है कि 13 जून को इजरायल ने ईरान के परमाणु ठिकानों पर जोरदार हमले किए थे जिसके बाद लगभग 12 दिनों तक दोनों देशों के बीच बेहद तनावपूर्ण हालात बने रहे। इस दौरान अमेरिका ने भी ईरान के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए उसके तीन प्रमुख परमाणु ठिकानों को निशाना बनाया था।
हालांकि इस बीच ईरान ने भी सोमवार को पलटवार करते हुए कतर स्थित अमेरिकी सैन्य अड्डे पर 14 मिसाइलें दागी थीं जिससे युद्ध की आंच और तेज हो गई थी। अमेरिकी अधिकारियों के मुताबिक इन हमलों में कोई नुकसान नहीं हुआ न ही कोई नागरिक हताहत हुआ।
आगे क्या होगा?
ट्रंप के अनुसार यदि दोनों देश इस सीजफायर का सफलतापूर्वक पालन करते हैं तो 24 घंटे बाद इस संघर्ष को औपचारिक रूप से समाप्त घोषित कर दिया जाएगा। यह घटनाक्रम न केवल मध्य पूर्व की स्थिरता के लिए बेहद अहम है बल्कि अमेरिकी चुनावी राजनीति में भी डोनाल्ड ट्रंप के लिए एक बड़ा कूटनीतिक संदेश माना जा रहा है जो उन्हें शांतिदूत के रूप में स्थापित कर सकता है।