Edited By jyoti choudhary,Updated: 07 Jun, 2025 03:14 PM

आंध्र प्रदेश सरकार जल्द ही श्रम कानूनों में बड़ा बदलाव करने जा रही है। मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू की अगुवाई में कैबिनेट ने एक प्रस्ताव को मंजूरी दी है, जिसके तहत काम के घंटे 9 से बढ़ाकर 10 घंटे किए जाएंगे। सरकार का कहना है कि यह बदलाव 'ईज़ ऑफ डूइंग...
बिजनेस डेस्कः आंध्र प्रदेश सरकार जल्द ही श्रम कानूनों में बड़ा बदलाव करने जा रही है। मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू की अगुवाई में कैबिनेट ने एक प्रस्ताव को मंजूरी दी है, जिसके तहत काम के घंटे 9 से बढ़ाकर 10 घंटे किए जाएंगे। सरकार का कहना है कि यह बदलाव 'ईज़ ऑफ डूइंग बिजनेस' नीति के तहत निवेशकों को आकर्षित करने के लिए किया जा रहा है।
हालांकि, ट्रेड यूनियनों ने इस फैसले को कर्मचारियों के शोषण की दिशा में कदम बताया है। उनका आरोप है कि इससे श्रमिकों को "गुलाम जैसा" बना दिया जाएगा और यह बदलाव उद्योगपतियों को खुश करने के लिए किया जा रहा है।
ओवरटाइम और नाइट शिफ्ट नियमों में भी बदलाव
ओवरटाइम सीमा: अब 75 घंटे से बढ़ाकर 144 घंटे कर दी गई है। इसका मतलब यह है कि अब श्रमिकों को अतिरिक्त वेतन 144 घंटे ओवरटाइम के बाद ही मिलेगा
महिला कर्मचारियों की नाइट शिफ्ट: अब अनुमति होगी लेकिन बदले में एक अतिरिक्त पेड लीव प्रबंधन के विवेक पर दी जाएगी।
शिफ्ट ओवरलैप नियम: अब फैक्ट्री प्रबंधन खुद तय करेगा।
ट्रेड यूनियन का विरोध तेज
CPM के राज्य सचिव वी. श्रीनिवास राव ने इस फैसले की तीखी आलोचना की और सरकार से इसे तुरंत वापस लेने की मांग की। यूनियनों ने राज्यव्यापी आंदोलन की चेतावनी भी दी है। उन्हें आशंका है कि नए नियमों के तहत 12 घंटे तक काम लेना भी संभव हो जाएगा।
सरकार का पक्ष
राज्य के सूचना मंत्री के. पार्थसारथी ने कहा कि ये बदलाव आंध्र प्रदेश को औद्योगिक निवेश के लिए आकर्षक गंतव्य बनाएंगे और इससे आर्थिक गतिविधियों में तेजी आएगी।