Edited By Ashutosh Chaubey,Updated: 13 May, 2025 08:55 PM

भारत सरकार ने एक बार फिर पाकिस्तान को स्पष्ट संदेश देते हुए बड़ा कदम उठाया है। मंगलवार को नई दिल्ली स्थित पाकिस्तान उच्चायोग में कार्यरत एक पाकिस्तानी अधिकारी को “अवांछित व्यक्ति” (Persona Non Grata) घोषित कर दिया गया।
इंटरनेशलन डेस्क: भारत सरकार ने एक बार फिर पाकिस्तान को स्पष्ट संदेश देते हुए बड़ा कदम उठाया है। मंगलवार को नई दिल्ली स्थित पाकिस्तान उच्चायोग में कार्यरत एक पाकिस्तानी अधिकारी को “अवांछित व्यक्ति” (Persona Non Grata) घोषित कर दिया गया। भारत सरकार का आरोप है कि यह अधिकारी अपनी राजनयिक सीमाओं से बाहर जाकर उन गतिविधियों में शामिल था जो उसकी तय भूमिका के अनुरूप नहीं थीं। विदेश मंत्रालय ने इस अधिकारी को 24 घंटे के भीतर भारत छोड़ने का सख्त निर्देश दिया है। यह निर्णय इसलिए भी अहम माना जा रहा है क्योंकि यह ऐसे वक्त में आया है जब भारत-पाक रिश्तों में पहले से ही तनाव बना हुआ है। यह कार्रवाई भारत की संप्रभुता और सुरक्षा को लेकर उसकी कड़ी नीति को दर्शाती है।
पाक उच्चायोग को दिया गया औपचारिक नोटिस
भारत सरकार ने पाकिस्तान उच्चायोग के प्रभारी अधिकारी को एक आधिकारिक डेमार्शे (कूटनीतिक विरोध पत्र) भी सौंपा है। इस पत्र के माध्यम से भारत ने अपनी आपत्ति और फैसले की औपचारिक जानकारी दी है। सरकार ने यह भी स्पष्ट किया है कि यह फैसला पूरी जानकारी और प्रमाणों के आधार पर लिया गया है।
क्या होता है 'अवांछित व्यक्ति' घोषित करना?
जब कोई विदेशी राजनयिक अधिकारी अपने कार्यक्षेत्र की मर्यादाएं लांघता है या जासूसी जैसी गतिविधियों में शामिल पाया जाता है तो उसे 'अवांछित व्यक्ति' घोषित किया जा सकता है। यह अंतरराष्ट्रीय कूटनीतिक नियमों के तहत एक मान्यता प्राप्त प्रक्रिया है, जिसमें मेज़बान देश को यह अधिकार होता है कि वह किसी भी राजनयिक को निष्कासित कर सकता है।